स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर लाल किले पर तिरंगा फहराने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुभकामनाओं के साथ देश की समस्याओं, पीड़ित वर्ग और खासकर महिला वर्ग की उपलब्धियों को गिनाया। सबका साथ, सबका विकास की बात करते हुए उन्होंने कहा, ‘हम गोली और गाली के रास्ते पर नहीं चलेंगे गले लगाकर चलेंगे, जन-जन को साथ लेकर चलेंगे।‘ उन्होंने पिछली सरकार पर भी टिप्पणी करते हुए कहा कि उस रफ्तार से चलते तो देश के विकास में सौ साल का समय और लगता।
– पीएम ने कहा कि सभी भारतीयों को खाना, स्वास्थ्य, कनेक्टीविटी, कुशलता, स्वच्छता, सुरक्षा, जल मिले इसलिए वॉटर फॉर ऑल, सैनिटेशन फॉर ऑल, स्किल फॉर ऑल, हेल्थ पर ऑल, इंश्योरेंस फॉर ऑल, कनेक्टीविटी फॉर ऑल के मंत्र के साथ चलेंगे।
– उन्होंने आगे कहा कि देश में टैक्स न देने की हवा बनाई जा रही है, इमानदार करदाताओं के टैक्स पर देश चलता है, डायरेक्ट टैक्स देने वालों की संख्या पौने सात करोड़ तक है।
– उन्होंने कहा, ‘भारत को हमारे वैज्ञानिकों पर गर्व है, जो अपने शोध में उत्कृष्ट हैं और नवाचार में सबसे आगे हैं। आज मेरा सौभाग्य है कि इस पावन अवसर पर मुझे देश को एक और खुशखबरी देने का अवसर मिला है। साल 2022, यानि आजादी के 75वें वर्ष में और संभव हुआ तो उससे पहले ही, भारत अंतरिक्ष में तिरंगा लेकर जा रहा है।’ ऐसा करने वाल भारत चौथा देश बनेगा।
– उन्होंने कहा, ‘मैं आज इस मंच से मेरी कुछ बहादुर बेटियों को खुशखबरी देना चाहता हूं। भारतीय सशक्त सेना में शॉर्ट सर्विस कमीशन के जरिए नियुक्त महिला अधिकारियों को पुरुष समकक्ष अधिकारियों की तरह पारदर्शी प्रक्रिया द्वारा स्थायी कमीशन देने की घोषणा करता हूं।’
– अपनी उपलब्धियों को गिनाते हुए उन्होंने कहा कि हमने ओबीसी आयोग को संवैधानिक दर्जा दिया, दिक्कतों के बावजूद जीएसटी लागू किया और सैनिकों के हित में वन रैंक वन पेंशन योजना लेकर आए।
– जन आरोग्य योजना का ऐलान करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि आगामी 25 सितंबर से देश में यह योजना लागू कर दी जाएगी।
– महिलाओं की उपलब्धियां गिनाते हुए उन्होंने कहा कि खेत से लेकर खेल तक महिलाएं हमारा नाम ऊंचा कर रहीं हैं।
– प्रधानमंत्री ने जम्मू कश्मीर के आतंकवाद से लेकर त्रिपुरा, मेघालय और छत्तीसगढ़ के नक्सलवाद की भी चर्चा की।
– अपने संबोधन में पीएम मोदी ने जलियांवाला बाग हत्याकांड को याद किया और देशवासियों को याद दिलाया कि इस वीभत्स घटना के सौ साल पूरे होने वाले हैं।
– इसके बाद हाल में हुए दुष्कर्म घटनाओं का जिक्र करते हुए कहा कि दुष्कर्म पीड़िता बेटी से अधिक पीड़ा देश को होती है।
– मैं बेचैन हूं, बेसब्र हूं, अधीर हूं आतुर हूं कि नागरिकों को अच्छा जीवन दे सकूं और चौथी औद्योगिक क्रांति भारत को करना है।
– जिद है एक सूर्य उगाना है… अंबर से ऊंचा जाना है… एक भारत नया बनाना है।
– संबोधन के अंत में प्रधानमंत्री मोदी ने जय हिंद, भारत माता की जय व वंदे मातरम् के नारे लगाए।
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