समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) के राष्ट्रीय अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) ने दूध, दही और छाछ पर वस्तु एवं सेवा कर (GST) लागू किए जाने को लेकर तंज करते हुए सरकार से पूछा कि क्या अब दूध-दही से जुड़े मुहावरों पर भी जीएसटी देना पड़ेगा।
सपा चीफ ने गुरुवार को ट्वीट में तंज कसते हुए कहा कि जन्माष्टमी से ठीक एक महीने पहले भाजपा सरकार ने दूध, दही, छाछ पर जीएसटी लगाकर जो चोट कृष्ण भक्तों को दी है, उससे आहत होकर हर एक कृष्ण भक्त पूछ रहा है कि क्या अब ‘दूध का जला, छाछ भी’, ‘दूध का दूध’, ‘दूधो नहाओ’ जैसी लोकोक्ति-मुहावरों पर भी जीएसटी देना पड़ेगा?
जय श्री कृष्णा!
जन्माष्टमी के ठीक एक महीने पहले भाजपा सरकार ने दूध, दही, छाछ पर GST लगाकर जो चोट कृष्ण भक्तों को दी है, उससे आहत होकर हर एक भोला कृष्ण भक्त पूछ रहा है कि क्या अब दूध का जला, छाछ को भी… दूध का दूध…दूधो नहाओ…दही जमना जैसे लोकोक्ति-मुहावरों पर भी GST देना पड़ेगा?
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) July 21, 2022
बता दें कि इससे पहले अखिलेश यादव ने जलशक्ति राज्यमंत्री दिनेश खटीक के इस्तीफा देने पर योगी सरकार पर तंज कसा था। उन्होंने कहा था कि जहाँ मंत्री होने का सम्मान तो नहीं परंतु दलित होने का अपमान मिले…ऐसी भेदभावपूर्ण भाजपा सरकार से त्यागपत्र देना ही अपने समाज का मान रखने के लिए यथोचित उपाय है। कभी-कभी बुलडोज़र उल्टा भी चलता है।
गौरतलब है कि केंद्र सरकार ने पैकिंग वाले दही, लस्सी, पनीर और छाछ जैसे दुग्ध उत्पादों पर 18 जुलाई से पांच फीसद जीएसटी लगा दिया है। इसके अलावा पैकिंग और लेबलयुक्त चावल, आटे और गेहूं पर भी जीएसटी लागू किया गया है, इससे इन रोजमर्रा की जरूरत की चीजों की कीमतें बढ़ गई हैं।
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