उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के बाराबंकी (Barabanki) जिले में रामस्वरूप यूनिवर्सिटी (Ramswaroop University) के छात्रों और ABVP कार्यकर्ताओं पर हुए पुलिस लाठीचार्ज मामले ने तूल पकड़ लिया है। LLB कोर्स की मान्यता रद्द होने के बावजूद एडमिशन लेने को लेकर प्रदर्शन कर रहे छात्रों पर पुलिस की सख्ती भारी पड़ी। झड़प के बाद हुए लाठीचार्ज में करीब 25 से अधिक छात्र और कार्यकर्ता गंभीर रूप से घायल हो गए। इस घटना से आक्रोशित छात्रों ने जमकर प्रदर्शन किया और पुलिस प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की।
मुख्यमंत्री योगी ने जताई नाराज़गी, सख्त कार्रवाई के निर्देश
घटना की जानकारी मिलते ही उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस मामले पर कड़ा रुख अपनाया। उन्होंने पुलिस की कार्रवाई पर नाराजगी जताते हुए दोषी अधिकारियों पर तत्काल सख्त कार्रवाई के आदेश दिए। सीएम योगी ने स्पष्ट संदेश दिया कि प्रदेश में पुलिसिया ज्यादती कतई बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
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CO सस्पेंड, इंस्पेक्टर और चौकी प्रभारी लाइन हाजिर
मुख्यमंत्री के निर्देश के बाद पुलिस विभाग में ताबड़तोड़ कार्रवाई की गई। बाराबंकी के सीओ हर्षित चौहान को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया गया है। इसके साथ ही नगर कोतवाली के इंस्पेक्टर और गदिया पुलिस चौकी प्रभारी को लाइन हाजिर किया गया है। मामले की जांच की ज़िम्मेदारी अयोध्या रेंज के IG प्रवीण कुमार को सौंपी गई है।
रामस्वरूप यूनिवर्सिटी की डिग्री की वैधता की होगी जांच
इस पूरे विवाद की जड़ रामस्वरूप यूनिवर्सिटी का LLB कोर्स है, जिसकी मान्यता रद्द होने के बावजूद एडमिशन लिए जा रहे थे। इसे लेकर छात्रों में भारी असंतोष है। सीएम योगी ने मंडलायुक्त अयोध्या को निर्देश दिए हैं कि वे विश्वविद्यालय की डिग्री की वैधता की जांच करें और इस विषय पर रिपोर्ट जल्द प्रस्तुत करें। वहीं, सरकार के एक मंत्री ने अस्पताल जाकर घायलों से मुलाकात कर स्थिति का जायज़ा लिया।