सुप्रीम कोर्ट से पूर्व बसपा सांसद अफजाल अंसारी को बड़ी राहत, बहाल होगी लोकसभा की सदस्यता

सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) से पूर्व बसपा सासंद अफजाल अंसारी (Afzal Ansari) को बड़ी राहत मिली है। कोर्ट ने 2007 गैंगस्टर एक्ट मामले में अफजाल अंसारी की सजा को सशर्त निलंबित कर दिया है। वहीं, इस फैसले के बाद बसपा नेता अफजाल अंसारी की सदस्यता बहाल कर दी जाएगी। वह मौजूदा संसद सत्र में भी हिस्सा ले सकेंगे।

पीठ ने कहा- सदन की कार्यवाही में ले सकते हैं भाग

सुप्रीम कोर्ट में न्यायमूर्ति सूर्यकांत, न्यायमूर्ति दीपांकर दत्ता और न्यायमूर्ति उज्जल भुइयां की पीठ ने कहा कि उत्तर प्रदेश के गाजीपुर निर्वाचन क्षेत्र से पूर्व सांसद अंसारी लोकसभा में अपना वोट नहीं डालेंगे और न ही कोई भत्ता प्राप्त कर करेंगे, लेकिन सदन की कार्यवाही में भाग ले सकते हैं। न्यायमूर्ति दत्ता ने कहा कि बहुमत के फैसले से उनकी राय अलग है और उन्होंने अंसारी की अपील खारिज कर दी।

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दरअसल, सात माह पहले गाजीपुर से बसपा सांसद अफजाल अंसारी की लोकसभा सदस्यता रद्द कर दी गई है। उन्हें गैंगस्टर मामले में गाजीपुर की एमपी/एमएलए कोर्ट ने चार साल की सजा सुनाई थी। सजा सुनाए जाने के 56 घंटे बाद उनकी सांसदी चली गई। अफजाल के भाई मुख्तार अंसारी को भी गैंगस्टर मामले में 10 साल की सजा सुनाई गई थी।कोर्ट ने मुख्तार अंसारी पर पांच लाख और अफजाल अंसारी पर एक लाख रुपए का जुर्माना लगाया था। मुख्तार पहले सी ही बांदा जेल में बंद है। इससे पहले तक सांसद अफजाल अंसारी जमानत पर था।

सुप्रीम कोर्ट ने इलाहाबाद हाई कोर्ट को पूर्व बसपा सांसद अफजाल अंसारी की दोषसिद्धि और सजा के खिलाफ आपराधिक अपील का निपटारा 30 जून, 2024 तक करने का निर्देश दिया है। शीर्ष अदालत ने 31 अक्टूबर को मामले में अपनी दोषसिद्धि को निलंबित करने की मांग करने वाली अंसारी की याचिका पर अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था।

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बता दें कि अंसारी भाइयों पर गैंगस्टर एक्ट का ये मामला 2007 में कृष्णानंद राय की हत्या के 2 साल बाद दर्ज किया गया था। इस केस में कृष्णानंद राय की हत्या के बाद हुई आगजनी और कारोबीर नंद किशोर रुंगटा के अपहरण-हत्या को आधार बनाया गया था। कृष्णानंद राय की हत्या मामले में कोर्ट अंसारी भाइयों को बरी कर चुका है, लेकिन गैंगस्टर एक्ट का यह मामला इसी से जुड़ा है।

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