उत्तर प्रदेश में पुलिसकर्मियों द्वारा आत्महत्या जैसे आत्मघाती कदम उठाने का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा। मामला बदायूं जिले का है, जहां संदिग्ध परिस्थितियों में मूसाझाग थाने में तैनात सिपाही ने रविवार शाम नशीली गोलियां खा ली। जिससे उसकी हालत बिगड़ गयी। पुलिस उसे जिला अस्पताल लेकर आयी। यहां प्राथमिक उपचार के बाद नाजुक हालत देखते हुये उसे चिकिसत्सकों ने बरेली हायर सेंटर के लिये रेफर कर दिया गया है। हालांकि अभी तक ये बात सामने नहीं आई कि आखिर सिपाही ने इतना बड़ा कदम उठाया ही क्यों?
ये है मामला
जानकारी के मुताबिक, मथुरा जिले के जमुना पार इलाके का रहने वाला अजीत सिंह पुत्र कमल सिंह 2022 बैच का सिपाही है। उसकी पहली पोस्टिंग मूसाझाग थाने में हुई। रविवार को वह दिन की ड्यूटी करने के बाद थाने के ही आवासीय कमरे में पहुंचा। यहां उसने संदिग्ध परिस्थितियों में नशीली गोलियां खाकर आत्मघाती कदम उठा लिया। गोलियों की ओवरडोज लेने की वजह से उसकी हालत बिगड़ गई और उल्टियां शुरू हो गईं। जैसे ही मामले की जानकारी अन्य पुलिसकर्मियों को हुई तो खलबली मच गई।
बरेली किया गया रेफर
सिपाही की हालत बिगड़ते ही इंस्पेक्टर समेत थाने के अन्य पुलिस कर्मियों ने सिपाही के कमरे में जाकर देखा तो वहां नशीली गोलियों का खाली रैपर पड़ा दिखाई दिया। जिससे नशीली गोलियां खाने की आशंका जतायी गयी। पुलिस टीम के साथ दरोगा खुर्शीद अहमद सिपाही को लेकर जिला अस्पताल पहुंचे। यहां चिकित्सकों ने सिपाही का प्राथमिक उपचार किया, लेकिन हालत बिगड़ते देख चिकित्सकों ने उसे हायर सेंटर ले जाने की सलाह दी। पुलिस टीम सिपाही को लेकर बरेली के लिये रवाना हो गयी है। जहां सिपाही का इलाज चल रहा है। हालत सही होने के बाद पुलिस अफसर इस बात का पता लगाएंगे कि आखिर सिपाही ने ये कदम क्यों उठाया।
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