बुलंदशहर में गोकशी की अफवाह के बाद फैली हिंसा मामले में कोतवाल सुबोध कुमार सिंह को गोली मारने के आरोपी प्रशांत नट को गिरफ्तार कर लिया है. पुलिस के मुताबिक प्रशांत दिल्ली में कैब ड्राइवर है. वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) बुलन्दशहर प्रभाकर चौधरी ने बृहस्पतिवार को प्रशांत नट की गिरफ्तारी की पुष्टि की. उन्होंने यह भी बताया कि नट ने ही सिंह की हत्या की थी और उससे इस मामले में पूछताछ की जा रही है. हालांकि, हत्या में इस्तेमाल किया गया रिवाल्वर अभी बरामद नहीं हो पाया है.
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गौरतलब है कि बुलंदशहर में भीड़ के हमले में इंस्पेक्टर सुबोध के अलावा एक अन्य युवक की मौत हो गई थी. चौधरी ने यह भी बताया कि इंस्पेक्टर ने आत्मरक्षा में गोली चलाई थी, जिसमें सुमित नाम के युवक की मौत हो गई थी. उसकी उम्र 20 साल के करीब थी. पुलिस सूत्रों के अनुसार ‘वीडियो फुटेज’ और कुछ लोगों की गवाही के आधार पर इंस्पेक्टर की हत्या में नट को संदिग्ध पाया गया.
गत 3 दिसंबर 2018 को हुई इस घटना के सिलसिले में बुलन्दशहर पुलिस ने अब तक 22 लोगों को गिरफ्तार किया है और छह से अधिक लोगों ने अदालत में आत्मसमर्पण किया है. उल्लेखनीय है कि पहले सेना के जवान जीतू फौजी पर संदेह था, लेकिन उसके खिलाफ सबूत नहीं मिले.
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पुलिस ने प्रशांत नट पर 3 दिसंबर को चिंगरावठी में हुई हिंसा के दौरान शहीद इंस्पेक्टर सुबोध कुमार को गोली मारने का आरोप लगाया है. आरोपी से पूछताछ के बाद स्याना हिंसा के मामले में पुलिस शुक्रवार को बड़ा खुलासा कर सकती है. पुलिस का कहना है कि प्रशांत नट ने पिस्टल छीनने के बाद इंस्पेक्टर को गोली मारी थी. प्रशांत नट चिंगरावठी गांव का रहने वाला है.
बार-बार थ्योरी बदल रही है पुलिस
बुलंदशहर हिंसा मामले में पुलिस बार-बार थ्योरी बदल रही है. सबसे पहले पुलिस ने बजरंग दल के जिला संयोजक योगेश राज को मुख्य आरोपी बताया. हालांकि, पुलिस ने योगेश को पकड़ने में पहले थोड़ी बहुत तेजी दिखाई, लेकिन योगेश के बारे में ज्यादा तफ्तीश नहीं की जा रही.
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इसके बाद जीतू फौजी को एक और आरोपी के रूप में पेश किया गया, लेकिन पुलिस की ये थ्योरी भी धरी की धरी रह गई. पुलिस ने जेल भेजने जाने के बाद जीतू का कोर्ट से रिमांड तक नहीं मांगा. अब पुलिस प्रशांत नट को इंस्पेक्टर सुबोध का कातिल होने का दावा कर रही है. इसके पीछे पुलिस पुख्ता और ठोस सबूत होने का हवाला दे रही है.
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