दीपावली पर अयोध्या (Diwali in Ayodhya) में होने वाला दीपोत्सव (Deepotsav 2022 in Ayodhya) हर साल लोगों का दिल जीत लेता है. कुछ ऐसे ही कार्यक्रम की तैयारी इस साल के लिए भी हो रही है. योगी आदित्यनाथ सरकार (Yogi Adityanath Govt 2.0) के दूसरे कार्यकाल का पहला दीपोत्सव भव्यता के साथ मनाया जाएगा. इस बार राम की पैड़ी से लेकर से लेकर सरयू घाट तक 16 लाख से अधिक दीप जलाकर नया वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाया जाएगा. आतिशबाजी से लेकर लेजर शो का भी आयोजन किया जाएगा.
बताया जा रहा है कि इस बार 16 शोभायात्रा साकेत महाविद्यालय से निकल कर दीपोत्सव स्थल तक नगर भ्रमण करते हुए जाएंगी. वहीं इसके साथ इस बार राम जन्मभूमि मॉडल और काशी कॉरिडोर के साथ 2047 में अयोध्या के विकास पर आधारित झांकी की भी तैयारी की जा रही है. इसके अलावा सामाजिक संदेश लिए हुए रामायण कालीन दृश्यों की झांकिया निकाली जाएंगी. झांकियां सुबह 9 बजे साकेत महाविद्यालय से निकलेगी जो नगर भ्रमण करते हुए 1:00 बजे तक दीपोत्सव स्थल पहुंचेंगी.
दीपोत्सव में सबसे ज्यादा आकर्षण का केंद्र रामायण कालीन शिक्षा पर आधारित सामाजिक संदेश लिए हुए नगर भ्रमण करने वाली झांकियां होती हैं, जिसमें विभिन्न कलाकार एक-एक प्रसंग के साथ 11 रथ पर सवार होते हैं. इस दौरान सभी कलाकार अपनी कलाकारी प्रदर्शित करते हुए रामायण कालीन दृश्यों को जीवंत करते रहते हैं. इसके अलावा पूरे देश के विभिन्न जगहों के डांसर रथ के आसपास नृत्य करते हुए चलते हैं.
बता दें, दीपोत्सव में शोभायात्रा आम जनमानस श्रद्धालु सभी के लिए आकर्षण का केंद्र होते हैं क्योंकि कुशल कलाकार अपनी-अपनी विधा में प्रदर्शन करते हुए शोभायात्रा में शामिल होते हैं. इस बार शोभायात्रा में 16 रथ शामिल होंगे, जिसमें 11 रथ सूचना विभाग और पांच रथ पर्यटन एवं संस्कृति विभाग के द्वारा तैयार कराया जा रहा है. दरअसल मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के दूसरे कार्यकाल का यह पहला दीपोत्सव है जिसको भव्य और दिव्य बनाने के लिए तैयारियां युद्ध स्तर पर चल रही है. करीब 16 लाख दीप जलाकर राम की पैड़ी पर एक बार फिर विश्व रिकॉर्ड बनाया जाएगा.
11 ट्रकों पर निकाली जाएंगी झाकियां
इस बारे में सूचना निदेशक डॉ मुरलीधर ने बताया कि सूचना विभाग की मुख्य भूमिका दीपोत्सव के दरमियान झांकी की होती है. मुख्यमंत्री के कार्यकाल में इस बार का छठवां दीपोत्सव मनाया जा रहा है. कोशिश है कि ज्यादा से ज्यादा भागीदारी हो. इस बार 11 खुली ट्रकों पर झांकियां निकाली जाएंगी जो रामायण कालीन दृश्यों पर आधारित होंगी जिसमें भगवान राम के जन्म से लेकर राम राज्याभिषेक तक के प्रसंग रहेंगे. इसके अलावा बन रहे है राम मंदिर का मॉडल और 2047 अयोध्या के विजन जिसमें अयोध्या के विकास का मॉडल पेश किया गया है पर आधारित भी झांकी आकर्षण का केंद्र होगी.
कई राज्य के कलाकार होंगे शामिल
अयोध्या शोध संस्थान के प्रशासनिक अधिकारी राम तीरथ ने बताया कि इस बार छठवां दीपोत्सव मनाया जाना है. ऐसे में इस बार और भव्य और व्यापक तरीके से दीपोत्सव मनाए जाने की तैयारी है. कई राज्य के कलाकारों को शोभायात्रा में सहभागिता करने का अवसर मिलेगा. शोभा यात्रा साकेत महाविद्यालय से सुबह 9:00 बजे निकलेगी जो 1:00 बजे दीपोत्सव स्थल पहुंचेगी.
योगी सरकार ने 2017 में की शुरुआत
अयोध्या में यह परंपरा प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने वर्ष 2017 में डाली थी और इसकी शुरुआत 51 हजार दीयों से हुई थी. वर्ष 2019 में इन दीयों की संख्या बढ़कर चार लाख 10 हजार हो गई थी. वर्ष 2020 में यह संख्या छह लाख थी और 2021 में यह नौ लाख से ज्यादा होकर एक नया विश्व रिकॉर्ड बना गई. इस बार 23 अक्टूबर को आयोजित होने वाले दीपोत्सव में 16 लाख दीये प्रज्ज्वलित करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. ऐसे में अयोध्या के आसपास के गांवों के कुम्हारों का काम बहुत बढ़ गया है और वे बहुत बड़े ‘ऑर्डर’ मिलने की उम्मीद में दिन रात चाक घुमा रहे हैं.
इस बार भी बनेगा वर्ल्ड रिकॉर्ड
इस बार दीपोत्सव के मौके पर 16 हजार दीपक जलाने का लक्ष्य रखा गया है. पिछले पांच वर्षों में दीपोत्सव के दरमियान अवध विश्वविद्यालय ने चार विश्व रिकॉर्ड बनाए हैं. अवध विवि एक बार फिर अपना रिकॉर्ड तोड़कर नया कीर्तिमान बनाएगा. दीपोत्सव को लेकर अभी से ही तैयारियां शुरू कर दी गई हैं. राम की पैड़ी पर साफ-सफाई शुरू हो चुकी है.
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