तेज तर्रार और धाकड़ आईपीएस अफसर प्रशांत कुमार (IPS Prashant Kumar) को उत्तर प्रदेश का नया कार्यवाहक डीजीपी (UP New DGP) नियुक्त किया गया है। प्रशांत कुमार अभी तक स्पेशल डीजी के पद पर कार्यरत थे। वर्तमान कार्यवाहक डीजीपी विजय कुमार 31 जनवरी 2024 को यानी आज रिटायर हो रहे हैं। ऐसे में प्रशांत कुमार को यह जिम्मेदारी सौंपी गई है। यूपी पुलिस में सिंघम के नाम से मशहूर प्रशांत कुमार को यूपी सरकार का भरोसेमंद अफसर माना जाता है। हाल ही में उन्हें गैलेंट्री अवॉर्ड से सम्मानित किया गया है।
1990 बैच के आईपीएस अफसर हैं प्रशांत कुमार
बता दें कि प्रशांत कुमार 1990 बैच के यूपी कैडर के आईपीएस अधिकारी हैं। प्रशांत कुमार के पिता का नाम ललन प्रसाद है। बिहार के सीवान जिले के रहने वाले प्रशांत कुमार के कार्यकाल में यूपी में कुख्यात अपराधियों और माफियाओं का खात्मा हुआ है। सूत्रों की मानें तो 300 ज्यादातर एनकाउंटर कर चुके हैं। उन्हें यूपी पुलिस में ‘सिंघम’ कहा जाता है। आईपीएस प्रशांत कुमार की पत्नी डिंपल वर्मा भी आईएएस अधिकारी हैं। वर्तमान समय में डिंपल वर्मा यूपी रेरा में सदस्य के तौर पर कार्यरत हैं।
पिछले साल दिसंबर महीने में आईपीएस प्रशांत कुमार डीजी रैंक पर प्रोन्नत हुए थे। उन्हें चार बार 2020, 2021, 2022 और 2023 में वीरता के लिए प्रेसिडेंट का पुलिस पदक मिल चुका है। डीजी प्रशांत कुमार को वर्ष 2017 में मेरठ में हुई एक साहसिक मुठभेड़ के मामले में वीरता पदक दिया गया है। प्रशांत कुमार की एडीजी जोन मेरठ के पद पर नियुक्ति के दौरान छह जुलाई 2017 को दिल्ली स्थित प्रीत विहार के मेट्रो हार्ट एवं कैंसर हास्पिटल के डॉ. श्रीकांत गौड़ की किडनैपिंग के बाद बदमाशों ने 5 करोड़ की फिरौती मांगी थी।
इस सूचना पर तत्कालीन एडीजी जोन प्रशांत कुमार व तत्कालीन एसएसपी मेरठ मंजिल सैनी द्वारा दिल्ली पुलिस की टीम के साथ उच्च कोटि का समन्वय स्थापित किया गया। 19 जुलाई 2017 जब मेरठ जनपद में कांवड़ मेला हो रहा था तब एक एनकाउंटर के बाद डॉ. श्रीकांत गौड़ को बरामद किया गया। यही नहीं, फिरौती मांगने वाले 4 किडनैपर्स को भी अरेस्ट किया गया था।
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