बिहार (Bihar) के समस्तीपुर निवासी मोहम्मद अब्दुल्ला (Mohammad Abdullah) ने 15 साल बाद ‘घर वापसी’ (Ghar Wapsi) की है और फिर से उमेश राय (Umesh Rai) बन गए हैं। एक शख्स के संपर्क में आकर इस्लाम कबूल करने वाले उमेश राय को बाद में इस बात का एहसास हुआ कि मुस्लिम समुदाय के लोग उन्हें अपना नहीं मानते। यही वजह है कि उन्होंने फिर से हिंदू धर्म अपनाने का फैसला किया।
पूरा मामला समस्तीपुर के ताजपुर थाना क्षेत्र के भैरव खरा गांव का है। बताया जा रहा है कि अब्दुल्ला का गांव के ही मोहम्मद रियाज से विवाद चल रहा था। इसको लेकर बुलाई गई पंचायत में आरोपी की जगह खुद को दोषी ठहराने और अपने खिलाफ फैसला आने से वह आहत थे। इसी के चलते उन्होंने घर वापसी का निर्णय लिया।
मिली जानकारी के अनुसार, शनिवार को गांव के काली मंदिर में घर वापसी कार्यक्रम का आयोजन किया गया था, जिसमें मुख्य भूमिका हिंदू पुत्र संगठन की रही। सबसे पहले मोहम्मद अब्दुल्ला ने मुंडन करवाया। इसके बाद स्नान कर हिंदू रीति-रिवाज के अनुसार पाग और जनेऊ देकर उनकी घर वापसी करवाई गई।
मोहम्मद अब्दुल्ला से उमेश बने व्यक्ति के साथ उसके पड़ोस में रहने वाले मोहम्मद रियाज ने मारपीट की थी और उसकी हत्या का प्रयास किया था। इसको लेकर गांव में मुस्लिम समुदाय से जुड़े लोगों के द्वारा पंचायत की गई थी। पंचायत ने आरोपी की जगह धर्म परिवर्तन करने वाले मोहम्मद अब्दुल्ला को दोषी ठहराते हुए उसके खिलाफ फैसला दिया।
उमेश ने बताया कि सभी लोगों ने एक साथ मन बना लिया था कि मेरे साथ हुई घटना को छिपा लेना है और इसका मर्डर कर देना है। इसलिए हम वहां से भाग निकले। वहां किसी ने हमको सहारा नहीं दिया और जिसने गलती की, उसके साथ ही सब चले गए।
उमेश ने बताया कि वह 2 दिन दूसरे के यहां सोए। मेरी पत्नी ने भी मेरी बात नहीं मानी। जिसके साथ हमने 15 साल गुजारे हैं उसने ही बात छुपा ली। इसलिए हम वहां से भाग आए। मेरी जान को खतरा है। मैं अपने मन से घर वापस आया हूँ। प्रशासन मुझे सुरक्षा प्रदान करें।
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