यूपी के सीतापुर जेल में बंद समाजवादी पार्टी के विधायक आजम खान की मुश्किलें अब बढ़ती जा रही हैं. जिसके क्रम में अब फिरोजाबाद की एसीजेएम कोर्ट ने 15 साल पुराने मामले में गैर जमानती वारंट जारी किया है. सपा नेता पर साल 2007 में चुनावी सभा के दौरान भड़काऊ भाषण देने का आरोप है. इस बयान पर तत्कालीन रिटर्निंग अफसर ने 4 अप्रैल को रसूलपुर थाने में मुकदमा दर्ज कराया था. जिसके चलते कोर्ट ने इस वारंट में 30 अप्रैल को अदालत में हाजिर होने का निर्देश दिया है.
ये था मामला
जानकारी के मुताबिक, फिरोजाबाद के अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट अमरीश त्रिपाठी ने बताया कि, आजम खान पर वर्ष 2007 में चुनाव के दौरान रसूलपुर थाना क्षेत्र के मोहल्ला हुसैनी में की गई एक जनसभा में उत्तेजक भाषण देने का आरोप लगा था. इसका मुकदमा अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत में चल रहा था. कथित उत्तेजक सांप्रदायिकता वाले भाषण को लेकर तत्कालीन निर्वाचन अधिकारी ने चार अप्रैल 2007 को रसूलपुर थाने में मुकदमा दर्ज कराया था.
इस मामले में आजम खान ने उच्च न्यायालय से स्थगन आदेश ले लिया था. अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत द्वारा जारी गैर जमानती वारंट में लिखा गया है कि आजम खान की ओर से उनके वकील द्वारा ऐसा कोई आदेश प्रस्तुत नहीं किया गया है जिसमें लिखा हो कि स्थगनादेश की अवधि को बढ़ाया गया है. कोर्ट ने 30 अप्रैल को पत्रावली प्रस्तुत करने का आदेश जारी किया है.
2 साल से जेल में बंद हैं आजम खान
बता दें कि,विधानसभा चुनाव 2022 में रामपुर से समाजवादी पार्टी के टिकट पर विधायक बनने वाले आजम खान बीते दो साल से अधिक समय से सीतापुर की जेल में बंद हैं. उनके खिलाफ 87 मुकदमे कई कोर्ट में विचाराधीन हैं. हालांकि इसमें से अधिकांश मामलों में उनको जमानत मिल चुकी है. इस बीच फिरोजाबाद कोर्ट द्वारा 15 साल पुराने मामले में गैर जमानती वारंट ने समाजवादी पार्टी नेता आजम खान की मुश्किल बढ़ा दी है.
Also Read: 3 से 6 साल के बच्चों को योगी सरकार की बड़ी सौगात, आंगनबाड़ी केंद्रों पर बांटेगी प्री-स्कूल किट
( देश और दुनिया की खबरों के लिए हमें फेसबुक पर ज्वॉइन करें, आप हमें ट्विटर पर भी फॉलो कर सकते हैं. )
















































