उत्तर प्रदेश में अगले 30 मार्च को 50 वर्ष की आयु पूरी कर चुके पुलिसकर्मियों की स्क्रीनिंग (Screening of Policemen) की जाएगी, जिन पुलिसकर्मियों का ट्रैक रिकॉर्ड खराब मिलेगा, उन्हें अनिवार्य सेवानिवृत्ति (Retirement) दी जाएगी। ए़डीजी स्थापना संजय सिंघल की ओर से सभी एडीजी जोन, आईजी-डीआईजी रेंज और सभी सात पुलिस कमिश्नरों के साथ ही पुलिस कप्तानों और पुलिस इकाइयों को इस संबंध में पत्र भेजा गया है।
30 नवंबर तक मांगी गई पुलिसकर्मियों की सूची
एडीजी स्थापना की ओर से भेजे गए पत्र में 30 नवंबर तक ऐसे सभी पुलिसकर्मियों को अनिवार्य सेवानिवृत्ति दिए जाने वाले पुलिसकर्मियों की सूची मांगी गई है। वहीं, पीएसी में ऐसे पुलिसकर्मियों की सूची 20 नवंबर तक भेजने के आदेश दिए गए हैं। रिपोर्ट में अगर कोई पुलिसकर्मी दागी, भ्रष्ट या बैड वर्क एंड कंडक्ट का पाया गया, तो उसे जबरन रिटायर किया जाएगा। उधर, आदेश मिलने के बाद स्क्रीनिंग की प्रक्रिया तेज कर दी गई है।
प्रदेश का स्थापना विभाग हर साल यह कवायद करता है। 50 साल की उम्र पार कर चुके पुलिसकर्मियों की स्क्रीनिंग में उनकी एसीआर यानी एनुअल कॉन्फिडेंशियल रिपोर्ट देखी जाएगी। एसीआर में कर्मचारियों के काम का मूल्यांकन, उनका चरित्र, व्यवहार, कार्यक्षमता और योग्यता की जानकारी दर्ज होती है। स्क्रीनिंग कमेटी सभी कर्मचारियों की एसीआर देखती है। इसके आधार पर ही निर्णय लिया जाता है।
हटाए जाएंगे खराब प्रदर्शन वाले अफसर व कर्मचारी
बता दें कि बीते दिनों मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा था कि जिन अफसरों व कर्मचारियों में निर्णय लेने की क्षमता नहीं है, उन्हें तत्काल हटाते हुए युवा और तेज-तर्रार अफसरों को जिम्मेदारी दी जाएगी। तहसील, ब्लॉक और थानों की कार्यप्रणाली में आमूलचूल परिवर्तन दिखाई नहीं दिया तो ऊपर से नीचे तक के सभी अफसरों के खिलाफ एक्शन लिया जाएगा।
इसके साथ ही उन्होंने मुख्यालयों से संबद्ध कर्मचारियों को भी तत्काल फील्ड ड्यूटी में भेजने का निर्देश दिया। जनता दर्शन के दौरान अपने पास आने वाले फरियादियों की बढ़ती संख्या और उनकी समस्याओं को देख मुख्यमंत्री ने नाराजगी जाहिर की थी।