पाकिस्तान में आतंकवाद के खिलाफ भारत द्वारा चलाए गए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ (Operation Sindoor) को लेकर भारत ने अंतरराष्ट्रीय मंच पर जो कूटनीतिक पहल की,जो अब रंग लाने लगी है। इसी प्रयास के तहत विभिन्न देशों में भेजे गए सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल को बड़ी सफलता मिली है। कोलंबिया, जिसने पहले ऑपरेशन पर सवाल उठाए थे, अब अपना बयान वापस लेकर भारत के समर्थन में नया आधिकारिक बयान जारी करने की तैयारी कर रहा है।
थरूर ने जताई संतुष्टि
प्रतिनिधिमंडल की अगुवाई कर रहे कांग्रेस सांसद शशि थरूर (Shashi Tharoor) ने जानकारी दी कि कोलंबिया ने अपना पुराना बयान वापस ले लिया है। उन्होंने कहा, ‘पहले कोलंबिया (Colombia) की प्रतिक्रिया से भारत को निराशा हुई थी, लेकिन अब वो हमारी बात समझ चुके हैं और समर्थन में बयान जारी करेंगे।’ यह प्रतिक्रिया थरूर की उस तीखी टिप्पणी के बाद आई है जिसमें उन्होंने कोलंबिया के पहले बयान पर असहमति जताई थी।’
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कूटनीतिक संवाद से बदला नजरिया
बीजेपी नेता और अमेरिका में भारत के पूर्व राजदूत तरनजीत सिंह संधू ने बताया कि कोलंबिया सरकार के सामने भारत की स्थिति को बहुत स्पष्ट और तथ्यपूर्ण ढंग से रखा गया। उन्होंने कहा, ‘हमारे प्रतिनिधिमंडल ने घटनाक्रम की पूरी जानकारी, समयरेखा और सबूतों के साथ कोलंबिया को समझाया, जिससे उन्हें स्थिति की गंभीरता का एहसास हुआ। पहले शायद कुछ महत्वपूर्ण तथ्य उनकी नजर से छूट गए थे।’
UNSC सदस्यता से पहले भारत का समर्थन अहम
संधू ने यह भी बताया कि कोलंबिया जल्द ही संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UNSC) का अस्थायी सदस्य बनने जा रहा है। ऐसे में भारत के प्रति उसका रुख एक महत्वपूर्ण संकेतक बनता है। उन्होंने कहा कि कोलंबिया के कार्यवाहक विदेश मंत्री और भारतीय प्रतिनिधिमंडल के बीच संवाद सकारात्मक रहा।
कोलंबिया की उप विदेश मंत्री का बयान
कोलंबिया की उप विदेश मंत्री रोसा योलांडा विलाविसेनियों ने कहा, ‘भारत की ओर से मिले स्पष्टीकरण से हमें पूरे घटनाक्रम की सही तस्वीर समझने में मदद मिली है। अब हमें कश्मीर की स्थिति और वहां के संघर्ष की ज्यादा स्पष्ट जानकारी है। हम इस मुद्दे पर भारत से आगे भी संवाद के लिए तैयार हैं।’
आतंक और आत्मरक्षा की तुलना नहीं कर सकते : थरूर
शशि थरूर ने शुक्रवार को दिए एक बयान में कोलंबिया के पहले बयान की कड़ी आलोचना करते हुए कहा था, “जो आतंकवाद फैलाते हैं और जो उनसे अपनी रक्षा करते हैं, उनके बीच कोई तुलना नहीं हो सकती। हमारे पास इस बात के पुख्ता सबूत हैं कि 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए हमले के पीछे पाकिस्तान समर्थित आतंकवादी थे, जिसमें 26 निर्दोष भारतीय मारे गए थे। उन्होंने कहा, भारत केवल आत्मरक्षा के अपने अधिकार का इस्तेमाल कर रहा है। जैसे कोलंबिया ने खुद अपने देश में आतंकवाद से निपटा है, वैसे ही भारत भी दशकों से ऐसे हमलों का सामना कर रहा है।’