राम मंदिर की जमीन खरीदने को लेकर श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट (Ayodhya Ram Janmbhoomi Trust) पर लग रहे भ्रष्टाचार के आरोपों के बीच ट्रस्ट के महासचिव चम्पत राय (Champat Rai) ने बयान जारी किया है. उन्होंने कहा कि श्री राम जन्म-भूमि मन्दिर को वास्तु शास्त्र के अनुसार भव्य स्वरूप प्रदान कराने, शेष परिसर को सभी प्रकार से सुरक्षित तथा दर्शनार्थियों के लिए सुविधापूर्ण बनाने के लिए ट्रस्ट कार्य कर रहा है. इस मन्दिर के पूर्व व पश्चिम भाग में निर्माणाधीन परकोटा व रिटेनिंग वॉल की सीमा में आने वाले महत्वपूर्ण मन्दिरों/स्थानों को परस्पर सहमति से खरीदा गया है.
चंपत राय ने राम भक्तों से साफ कहा है वे किसी भी बात पर विश्वास न करें. चंपत राय ने कहा है कि आरोप लगाने से पहले तीर्थ क्षेत्र के किसी भी पदाधिकारी से तथ्यों की जानकारी नहीं की, इससे समाज में भ्रम की स्थिति उत्पन्न हुई है. समस्त श्री राम भक्तों से निवेदन है कि वे ऐसे किसी दुष्प्रचार में विश्वास न करें.
1,423 रुपए प्रति वर्ग फीट तय हुई जमीन की कीमत
चम्पत राय कहा कि खोजबीन करने पर भूखण्ड हमारे उपयोग हेतु अनुकूल पाये जाने पर सम्बन्धित व्यक्तियों से सम्पर्क किया गया. भूमि का जो मूल्य मांगा गया, उसकी तुलना वर्तमान बाजार मूल्य से की. अन्तिम देय राशि लगभग 1,423/-रू0 प्रति वर्गफीट तय हुई जो निकट के क्षेत्र के वर्तमान बाजार मूल्य से बहुत कम है.
8 मार्च 2021 को कराया गया था बैनामा
>चंपत राय ने कहा कि जिस भूखण्ड पर विवाद कर आरोप लगाए जा रहे हैं,जिस जमीन की चर्चा हो रही है वह रेलवे स्टेशन के पास प्रमुख स्थान है. ट्र्स्ट ने जितनी भी जमीन खरीदी है वह खुले बाजार से काफी कम कीमत पर है. जमीन खरीदने के लिए वर्तमान विक्रेतागणों से वर्षों पूर्व जिस मूल्य पर एग्रीमेंट हुआ था उस जमीन को उन्होंने 18 मार्च 2021 को बैनामा कराया.
जमीन की कीमत पर सहमति के बाद हुआ एग्रीमेंट
राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चम्पत राय ने ट्वीट कर कहा कि जमीन के मूल्य पर सहमति हो जाने के पश्चात् सम्बन्धित व्यक्तियों को अपने पूर्व के अनुबन्धों को पूर्ण करना आवश्यक था, तभी सम्बन्धित भूमि तीर्थ क्षेत्र को प्राप्त हो सकती थी.
बैनामा होने के बाद एग्रीमेंट को कराया गया रजिस्टर्ड
चंपत राय ने बताया कि तीर्थ क्षेत्र के साथ अनुबन्ध करने वाले व्यक्तियों के पक्ष में भूमि का बैनामा होते ही तीर्थ क्षेत्र ने अपने पक्ष में पूर्ण तत्परता एवं पारदर्शिता के साथ अनुबन्ध हस्ताक्षरित किया व पंजीकृत कराया.
पारदर्शिता से हुआ पारदर्शिता से हुआ अनुबंध
चंपत राय ने कहा कि तीर्थ क्षेत्र के साथ कॉन्ट्रैक्ट करने वाले व्यक्तियों के पक्ष में भूमि का बैनामा होते ही तीर्थ क्षेत्र ने अपने पक्ष में पूर्ण तत्परता एवं पारदर्शिता के साथ अनुबन्ध हस्ताक्षरित किया व पंजीकृत कराया. तीर्थ क्षेत्र का पहले दिन से ही निर्णय रहा है कि सभी भुगतान बैंक से सीधे खाते में ही किए जाएंगे. संबंधित भूमि की खरीद प्रक्रिया में भी इसी निर्णय का पालन हुआ है. यह भी सुनिश्चित किया जाता है कि सरकार की ओर से लगाये गये सभी टैक्स आदि का भुगतान हो जाये.
दुष्प्रचार में विश्वास न करें राम भक्त
उन्होंने कहा कि आरोप की भाषा में वक्तव्य देने वाले व्यक्तियों ने आरोप लगाने से पहले तीर्थ क्षेत्र के किसी भी पदाधिकारी से तथ्यों की जानकारी नहीं ली. इससे समाज में भ्रम की स्थिति उत्पन्न हुई है. समस्त श्री राम भक्तों से निवेदन है कि वे ऐसे किसी दुष्प्रचार में विश्वास न करें ताकि श्री राम जन्म-भूमि मन्दिर का पूर्ण पारदर्शिता के साथ चल रहा निर्माण कार्य जल्द बिना किसी रुकावट के पूरा हो.Also Read: संजय सिंह और पवन पांडेय की के आरोप सरासर झूठे, श्रीराम में हमारी आस्था इसलिए दी जमीन: सुल्तान अंसारी
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