अपना दल की बड़ी कार्रवाई, बगावत के बाद ब्रजेन्द्र प्रताप सिंह निष्कासित, पत्नी को हटाने के लिए CM योगी को लिखा पत्र

लखनऊ (Lucknow) में मंगलवार को उस समय राजनीतिक माहौल गरमा गया जब चौधरी ब्रजेन्द्र प्रताप सिंह (Chaudhary Brajendra Pratap Singh) और अरविंद बौद्ध (Arvind Baudh) ने केंद्रीय मंत्री अनुप्रिया पटेल  और उनके पति प्राविधिक शिक्षा मंत्री आशीष पटेल (Ashish Patel) पर कार्यकर्ताओं के अपमान का गंभीर आरोप लगाते हुए ‘अपना मोर्चा’ (Apna Morcha) नाम से नई पार्टी के गठन की घोषणा कर दी। आरोप लगाया गया कि पार्टी अपने मूल सिद्धांतों से भटक चुकी है और अब निजी स्वार्थों की पूर्ति का जरिया बन गई है। उन्होंने दावा किया कि पार्टी के नौ विधायक उनके समर्थन में हैं और अब कार्यकर्ताओं को नया राजनीतिक विकल्प देने का समय आ गया है।

पार्टी का पलटवार

इस बगावत के तुरंत बाद अपना दल (एस) (Apna Dal S) एक्शन मोड में आ गया। पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष आर.पी. गौतम (R.P Gautam) ने ब्रजेन्द्र प्रताप सिंह (Brajendra Pratap Singh) और अरविंद बौद्ध (Arvind baudh) को पार्टी से बाहर करने का औपचारिक ऐलान कर दिया। उन्होंने साफ कहा कि इन दोनों नेताओं का आचरण संगठन की मर्यादाओं और नीति के खिलाफ रहा है। पार्टी विरोधी गतिविधियों और बयानों ने संगठन की छवि को नुकसान पहुंचाया, जिससे अनुशासनात्मक कार्रवाई अनिवार्य हो गई थी।

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सीएम योगी को पत्र 

आर.पी. गौतम ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Adiyanath) को पत्र लिखकर मांग की है कि ब्रजेन्द्र सिंह की पत्नी मोनिका आर्या (Monica Arya) को अपर शासकीय अधिवक्ता (राज्य सरकार) के पद से और अरविंद बौद्ध को पूर्वांचल विकास बोर्ड के सदस्य पद से तत्काल हटाया जाए। गौतम ने कहा कि इनकी नियुक्ति पार्टी को विश्वास में लिए बिना की गई, जबकि दोनों पहले ही तीन साल पूर्व पार्टी से निष्कासित किए जा चुके थे।

कार्यकर्ताओं का असंतोष 

अपना मोर्चा के गठन के वक्त ब्रजेन्द्र प्रताप सिंह ने कहा था कि बीते दस वर्षों में कई समर्पित कार्यकर्ता पार्टी से नाखुश होकर बाहर हुए हैं और अब वह सब एकजुट होकर नया राजनीतिक मंच बना रहे हैं। उन्होंने अनुप्रिया पटेल और आशीष पटेल पर जातीय राजनीति की अनदेखी करने और केवल निजी हित साधने का आरोप लगाया। उन्होंने यह भी कहा कि उनकी नई पार्टी सामाजिक न्याय और पिछड़ों की भागीदारी को फिर से मजबूत करने के लिए काम करेगी।

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माहौल गर्म 

अपना दल (एस) द्वारा उठाए गए इस मुद्दे ने एनडीए गठबंधन के भीतर संभावित असहमति की ओर इशारा किया है। पार्टी ने मुख्यमंत्री से यह कदम उठाने की अपील की है ताकि गठबंधन धर्म की गरिमा बनी रहे और कार्यकर्ताओं में पारदर्शिता व विश्वास की भावना को बल मिले। यह घटनाक्रम आने वाले दिनों में राज्य की सियासत में और हलचल पैदा कर सकता है, खासकर तब जब चुनावी माहौल धीरे-धीरे गर्म होने लगा है।

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