कानपुर के बिकरू कांड (Bikru case) में एसआईटी की जांच में एक और बड़ा खुलासा हुआ है। गैंगस्टर विकास दुबे की पत्नी समेत उसके रिश्तेदारों और परिचितों ने फर्जी डॉक्यूमेंट्स के जरिए सिम लिए थे। एसआईटी की जांच रिपोर्ट के आधार पर जिला प्रशासन ने पुलिस को इन सभी पर केस दर्ज करने का आदेश दिया है।
जांच में इस बात का भी खुलासा हुआ है कि जय बाजपेई का पासपोर्ट फर्जी डॉक्यूमेंट्स पर बनवाया गया था। वहीं, विकास दुबे की पत्नी रिचा, मोनू, अरविंद त्रिवेदी, राजू वाजपेयी, विष्णु पाल, दीपक, शिव तिवारी, शांति देवी, खुशी, रेखा ने फर्जी आईडी पर सिम ले रखे थे।
सूत्रों ने बताया कि पुलिस ने जब इनके मोबाइल नंबरों की डिटेल निकाली, तो ये तथ्य सामने आए। इन सभी के खिलाफ अपर मुख्य सचिव और एसआईटी अध्यक्ष संजय भूसरेड्डी के निर्देश पर कार्रवाई के लिए कहा गया है। वहीं, जय बाजपेई के पासपोर्ट के बारे में बता चला कि आपराधिक इतिहास छिपाने के लिए जय ने फर्जी वोटर आईडी के जरिए पासपोर्ट बनवाया था, जिसपर पता भी दूसरा पड़ा था।
बता दें कि 2 जुलाई की रात बिकरू गांव में विकास दुबे के घर दबिश देने पहुंची पुलिस की टीम पर घात लगाकर बैठे बदमाशों ने हमला कर दिया था। इस हमले में सीओ देवेंद्र मिश्रा सहित 8 पुलिसकर्म शहीद हो गए थे। यूपी एसटीएफ ने इस मामले में कार्रवाई करते हुए विकास दुबे सहति उसके पांच साथियों को एनकाउंटर में मार गिराया था।
बिकरू कांड में पुलिस ने करीब तीन महीने बाद माती कोर्ट में 36 आरोपियों के खिलाफ करीब 1700 पन्नों की चार्जशीट दाखिल की थी। इस मामले में दो आरोपी अभी फरार हैं। विकास दुबे समेत छह बदमाश मारे जा चुके हैं। चार्जशीट के मुताबिक घटना को साजिश के तहत अंजाम दिया गया था।
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