झांसी अग्निकांड पर CM योगी ने जताया शोक, मृतकों के परिजनों को 5 लाख व घायलों को 50,000 की आर्थिक मदद

झांसी (Jhansi) के महारानी लक्ष्मीबाई मेडिकल कॉलेज में शुक्रवार देर रात विशेष नवजात देखभाल इकाई (एसएनसीयू) में लगी भीषण आग में 10 नवजात शिशुओं की दर्दनाक मौत हो गई। इस हादसे में झुलसे 16 अन्य नवजात बच्चों का इलाज जारी है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (CM Yogi Adityanath) ने इस घटना पर गहरा शोक व्यक्त करते हुए मृतकों के परिजनों को ₹5-5 लाख और घायलों को ₹50,000 की आर्थिक सहायता देने की घोषणा की है।

सीएम योगी का निर्देश- 12 घंटे में रिपोर्ट सौंपने का आदेश

मुख्यमंत्री ने घटना की गंभीरता को देखते हुए झांसी के मंडलायुक्त और डीआईजी को 12 घंटे के भीतर विस्तृत रिपोर्ट देने के निर्देश दिए हैं। साथ ही, डिप्टी सीएम बृजेश पाठक और प्रमुख सचिव स्वास्थ्य को तुरंत घटनास्थल पर भेजा गया। उन्होंने यह भी सुनिश्चित करने को कहा कि सभी पीड़ित परिवारों को सहायता राशि जल्द से जल्द मिले और घायलों का सर्वोत्तम इलाज किया जाए।

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दमकल और सेना ने बुझाई आग

मंडलायुक्त विमल कुमार दुबे के मुताबिक, आग लगने के समय एसएनसीयू में 55 नवजात भर्ती थे। इनमें से 45 बच्चों को सुरक्षित निकाल लिया गया। सूचना मिलते ही करीब 15 दमकल गाड़ियां और सेना को मौके पर बुलाया गया। दमकल और सेना की संयुक्त कार्रवाई से आग पर काबू पाया गया।

घटनास्थल पर बचाव अभियान

घटना के दौरान झांसी पुलिस और अन्य अधिकारी मौके पर मौजूद रहे। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) सुधा सिंह ने बताया कि हादसे के समय एनआईसीयू में 50 से अधिक बच्चे भर्ती थे। सोशल मीडिया पर जारी पुलिस के बयान के अनुसार, बचाव अभियान में पुलिसकर्मियों ने तीमारदारों और मरीजों की मदद की।

मृतक नवजातों के परिजन सदमे में

निकटवर्ती महोबा जिले के रहने वाले एक दंपती ने अपने नवजात बच्चे की मौत पर गहरा दुःख व्यक्त किया। मां ने बताया कि उनके बच्चे का जन्म 13 नवंबर की सुबह हुआ था और अब वह इस आग की चपेट में आकर जान गंवा चुका है।

डिप्टी सीएम ने किया मेडिकल कॉलेज का दौरा

डिप्टी सीएम बृजेश पाठक ने शनिवार सुबह मेडिकल कॉलेज का दौरा किया और घटना की जानकारी ली। उन्होंने अस्पताल प्रशासन को निर्देश दिया कि घायलों को सर्वोत्तम चिकित्सा सुविधा दी जाए। मुख्यमंत्री योगी ने भी जिला प्रशासन को निर्देश दिए कि इस मामले में किसी भी तरह की लापरवाही न हो।

यह दर्दनाक हादसा पूरे प्रदेश को झकझोर देने वाला है। पीड़ित परिवारों को सहायता पहुंचाने और घायलों का इलाज सुनिश्चित करने के लिए सरकार द्वारा हरसंभव कदम उठाए जा रहे हैं।

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