पूर्व बीजेपी विधायक स्व. कृष्णानंद राय (Krishananand Rai) की पत्नी अलका राय (Alka Rai) ने कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा (Priyanka Gandhi Vadra) को बेहद भावुक कर देने वाला पत्र लिखा है. अपने पत्र में उन्होंने कहा कि आपकी पार्टी निर्लज्जता के साथ मुख़्तार अंसारी (Mukhtar Ansari) जैसे दुर्दांत अपराधी के साथ खुल कर खड़ी है जिसने तमाम निर्दोषों की बेरहमी से हत्या की है.
दुर्दांत मुख्तार को संरक्षण राहुल प्रियंका की मंजूरी से
अलका राय का कहना है कि वह 14 साल से पति की हत्या का इंसाफ पाने के लिए लड़ रही हैं, लेकिन उस जुल्मी (मुख्तार अंसारी) को खुला संरक्षण दे रही है. पत्र में वह लिखती हैं, “उत्तर प्रदेश की तमाम अदालतों से मुख्तार अंसारी को तलब किया जा रहा है. परंतु पंजाब सरकार उसे उत्तर प्रदेश भेजने को तैयार नहीं है. हर बार कोई ना कोई बहाना बनाकर मुझे और मुझ जैसे सैकड़ों लोगों को इंसाफ से वंचित किया जा रहा है. यह बेहद शर्मनाक है कि आपकी राजनीतिक पार्टी और उसके नेतृत्व की सरकार इतनी निर्लज्जता के साथ मुख्तार अंसारी जैसे दुर्दांत अपराधी के साथ खुल कर खड़ी है. कोई भी ये स्वीकार नहीं करेगा कि ये सब कुछ आपकी और राहुल जी की जानकारी के बगैर हो रहा है.”
महिला होकर अबला का दर्द क्यों नहीं समझ रहीं प्रियंका गांधी
अलका पत्र में लिखती हैं कि “मुख्तार अंसारी पेशेवर अपराधी है. उसने तमाम निर्दोषों की बेरहमी से हत्या की है. अनेक माताओं-बहनों का उसने सुहाग उजाड़ा है, तो तमाम बच्चों के सिर से उसने पिता का साया छीना है. प्रत्येक पीड़ित को उस क्षण की प्रतीक्षा है, जब मुख्तार जैसे दुर्दांत अपराधी को उसके किए की कड़ी सजा मिलेगी. इंसाफ की आस में हमारा हर दिन व हर रात तिल-तिल कर गुजर रहा है. आप खुद भी एक महिला हैं. ऐसे में मेरा आपसे विनम्रता से सवाल है कि आप ऐसा क्यों कर रही हैं? क्या आपको हम जैसी अबलाओं का दर्द नहीं दिख रहा?”
कांग्रेस मुख्तार के साथ खुलकर खड़ी
मुख्तार अंसारी को सुरक्षित रखने का आरोप लगाते हुए अलका ने कहा है कि, “मेरी खुद की कहानी इस बात का प्रमाण है कि कैसे कानून का मजाक उड़ा कर मुख्तार वर्षों से सुरक्षित बचा हुआ है. यह बेहद खेदजनक है कि आप और आपकी पार्टी मुख्तार जैसे घिनौने अपराधियों के साथ खुल कर खड़ी है.”
वोटबैंक के लिए कांग्रेस क्यों अपराधी को बचा रही
अलका कहती हैं कि उन्हें ये पता चला है कि जब उत्तर प्रदेश पुलिस की गाड़ियां मुख्तार अंसारी को लेने गईं तब पंजाब सरकार ने उसे बचाने के लिए 3 महीने का बेड रेस्ट दे दिया. अलका और उनके जैसे सैकड़ों लोग इस बात से हताश हैं, जिन्हें आज भी इंसाफ का इंतजार है. आज संपूर्ण उत्तर प्रदेश की जनता के मन में ये कौतूहल है कि मुख्तार को लेकर उठ रहे तमाम सवालों पर आखिर प्रियंका जी और राहुल जी खामोश क्यों हैं? आखिर वोटबैंक की मजबूरी में कांग्रेस क्यों एक कुख्यात अपराधी को बचाने की कोशिश कर रही है?
थोड़ी भी संवेदना होगी तो प्रियंका देंगी जवाब
आखिर में अलका ने प्रियंका गांधी से जवाब मांगते हुए लिखा है कि, “मुझे आपके जवाब का इंतजार रहेगा. मुझे विश्वास है कि यदि आपके मन में थोड़ी भी संवेदना होगी तो आप ना सिर्फ मेरे पत्र का जवाब देंगी बल्कि मुख्तार अंसारी को सजा दिलाने में मेरी मदद भी करेंगी.”
क्या है कृष्णानंद राय हत्याकांड ?
29 नवम्बर 2005 को करीमुद्दीनपुर थाना क्षेत्र गोडउर गांव निवासी बीजेपी विधायक कृष्णानंद राय क्षेत्र के सोनाड़ी गांव में क्रिकेट मैच का उद्घाटन करने के बाद वापस अपने गांव लौट रहे थे. शाम करीब चार बजे बसनियां चट्टी पर उनके काफिले को घेरकर ताबड़तोड़ फायरिंग की गई थी. इस हत्याकांड में एके-47 और कई ऑटोमैटिक हथियार का उपयोग किया गया था. एके 47 की गोलियों की बौछार से बीजेपी विधायक कृष्णानंद राय समेत 7 लोगों को मौत के घाट उतार दिया गया था. बताया जाता है कि इस हमले के दौरान करीब 5 सौ से अधिक गोलियों का प्रयोग किया गया था. विधायक कृष्णानंद राय समेत सात लोगों की एक साथ हत्या से तब गाजीपुर ही नहीं बल्कि पूरे यूपी और बिहार में भी हड़कंप मच गया था.
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