उत्तर प्रदेश के रिटायर्ड आईपीएस अमिताभ ठाकुर (Former IPS Amitabh Thakur) को सोमवार को हाई कोर्ट की लखनऊ बेंच से बड़ी राहत मिली है। लखनऊ में जस्टिस राजीव सिंह की बेंच ने अपना फैसला सुनाते हुए अमिताभ ठाकुर को जमानत दे दी है। अमिताभ ठाकुर की तरफ से उनके अधिवक्ता ने पक्ष रखा।
इससे पहले पुलिस अभिरक्षा में जाने से इनकार कर हंगामा करने एवं सरकारी कार्य में बाधा डालने के आरोप में पूर्व आईपीएस की ज़मानत मंजूर हुई थी। लेकिन वाराणसी की रेप पीड़िता और उसके साथी के द्वारा सुप्रीम कोर्ट के बाहर आत्मदाह मामले में पूर्व आईपीएस आरोपी थे। जिसके चलते वो रिहा नहीं हुए थे।
पूर्व आईपीएस अमिताभ ठाकुर को 27 अगस्त को गोमती नगर स्थित उनके आवास से उन्हें हिरासत में लेकर गिरफ्तार किया गया था। अमिताभ पर आरोप लगाया गया था कि उन्होंने माफिया मुख्तार अंसारी के कहने पर रेप के आरोपी अतुल राय को बचाने के लिये आपराधिक षड्यंत्र रचा था।
16 अगस्त को पीड़िता ने सुप्रीम कोर्ट के बाहर अपने दोस्त के साथ आत्महत्या की कोशिश की थी। जिसमें इलाज के दौरान उसकी और उसके साथी की मौत हो गई थी। दोनों ने मौत से पहले कोर्ट के बाहर आत्महत्या करने से पहले फेसबुक लाइव भी किया था। फेसबुक लाइव में पीड़िता और उसके दोस्त ने एसएसपी अमित पाठक, सीओ अमरेश सिंह, दरोगा संजय राय और उनके बेटे विवेक राय, पूर्व आईजी पर भी उत्पीड़न का आरोप लगाया था। पीड़िता ने अमिताभ ठाकुर पर दुष्कर्म के दोषी को बचाने के भी आरोप लगाए थे।