बड़ा खुलासा: कफ सिरप के पैसे से झारखंड में खनन परियोजना में निवेश, मामले में कई सहायक आयुक्त और ड्रग इंस्पेक्टर भी जांच के घेरे में

Varanasi Cough Syrup: वाराणसी (Varanasi) में कोडिन युक्त कफ सिरप की अवैध खरीद-बिक्री के मामले में खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन (FSDA) विभाग के सहायक आयुक्त और ड्रग इंस्पेक्टरों की भूमिका संदिग्ध मानी जा रही है। जांच में सामने आया कि कई फर्में केवल कागजों पर मौजूद थीं। विभाग ने इस मामले में पारदर्शी जांच शुरू कर दी है और किसी भी अधिकारी के दोषी पाए जाने पर कड़ी कार्रवाई करने का भरोसा दिलाया है।

फर्जी फर्मों का पर्दाफाश

जांच में कई फर्में सामने आईं, जो केवल कागजों पर काम कर रही थीं। इनमें से कुछ के लाइसेंस पर दर्ज पते पर मकान तक नहीं था, जबकि कहीं-कहीं केवल जनरल स्टोर पाए गए। नियमों के मुताबिक, लाइसेंस जारी करने से पहले ड्रग इंस्पेक्टर को निरीक्षण करना अनिवार्य है। इस लापरवाही के चलते सहायक आयुक्तों और ड्रग इंस्पेक्टरों की जिम्मेदारी पर गंभीर सवाल उठ रहे हैं।

Also Read: कफ सिरप कांड: शुभम जायसवाल के घर ED ने चस्पा किया नोटिस, धनंजय सिंह से नज़दीकियों के बाद अंडरवर्ल्ड में आलोक की पैठ गहरी

कोडिन सिरप से काला कारोबार

शुभम जायसवाल के पिता भोला जायसवाल की रांची स्थित फर्म ‘शैली मेसर्स ट्रेडर्स’ ने बनारस की 126 फर्मों को कोडिनयुक्त कफ सिरप की आपूर्ति की। जांच में पता चला कि इनमें से कई फर्में फर्जी पाई गईं। वर्ष 2019 से अब तक वाराणसी में तैनात तीन सहायक आयुक्त और पांच ड्रग इंस्पेक्टरों ने थोक दवा के 89 लाइसेंस जारी किए।

काले धन का निवेश खनन में

सिंडीकेट नशीले कफ सिरप की तस्करी से होने वाली काली कमाई को झारखंड में खनन व्यवसाय में लगाने का प्लान कर रहा था। इसके लिए पूर्वांचल के बाहुबलियों और माफिया नेटवर्क का सहारा लिया गया। इसके अलावा, झारखंड के एक मंत्री से संपर्क साधकर बड़े खनन प्रोजेक्ट के लिए आश्वासन भी लिया गया। सिंडीकेट को उम्मीद थी कि इस निवेश से अरबों रुपये का मुनाफा होगा।

Also Read: कोडीन कफ सिरप केस में ‘बाहुबली’ कनेक्शन! 9777 फॉर्च्यूनर ने बढ़ाए सवाल, धनंजय सिंह का नाम चर्चा में

राजनीतिक और बाहुबली नेटवर्क से संबंध

सूत्रों के अनुसार, शुभम को एमएलसी बनाने का आश्वासन दिया गया और एक बड़े राजनेता ने उसे लैंड क्रूजर भी भेंट की। पहले से शराब कारोबार के कारण बाहुबली नेटवर्क में संपर्क बना था, जो कफ सिरप के धंधे में आने के बाद और मजबूत हुआ। वहीं, पूर्व सांसद एवं बाहुबली धनंजय सिंह ने अमित सिंह टाटा को ब्लॉक प्रमुख बनाने के लिए समर्थन दिया। इस मामले में राजनीतिक हस्तियों की भूमिका पर भी सवाल उठ रहे हैं।

देश और दुनिया की खबरों के लिए हमें फेसबुक पर ज्वॉइन करेंआप हमें ट्विटर पर भी फॉलो कर सकते हैं. )