संभल हिंसा के आरोपियों की सपा नेताओं से मुलाकात करना पड़ा महंगा, मुरादाबाद जेल के जेलर व डिप्टी जेलर निलंबित

संभल हिंसा (Sambhal Violence) के आरोपियों से जेल में समाजवादी पार्टी (सपा) नेताओं की नियम विरुद्ध मुलाकात कराने के मामले में मुरादाबाद जेल (Moradabad Jail) के जेलर विक्रम सिंह यादव (Jailer Vikram Singh Yadav) और डिप्टी जेलर प्रवीण सिंह (Deputy Jailer Praveen Singh) को निलंबित कर दिया गया है। जेल अधीक्षक पीपी सिंह के खिलाफ कार्रवाई की रिपोर्ट शासन को भेजी गई है।

नियमों को ताक पर रखकर मुलाकात

दरअसल, समाजवादी पार्टी के विधायक नवाबजान, विधायक चौधरी समरपाल सिंह व पूर्व सांसद एसटी हसन समेत कई नेताओं को बीते सोमवार को मुरादाबाद जेल में कैद संभल हिंसा के आरोपियों से मिलवाया गया। यह मुलाकात बिना पर्ची और नियमों का उल्लंघन करते हुए की गई। सपा नेताओं ने मीडिया से बातचीत में आरोपियों को निर्दोष बताते हुए पुलिस पर बर्बरता का आरोप लगाया।

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संवेदनशील हिंसा का मामला

संभल में जेल की सुविधा नहीं होने के कारण हिंसा के आरोपियों को मुरादाबाद जेल में रखा गया है। हिंसा का मामला बेहद संवेदनशील है। इसे देखते हुए संभल प्रशासन ने 10 दिसंबर तक जनपद में बाहरी लोगों की एंट्री पर रोक लगा दी है।

जांच के बाद कार्रवाई

मामले की गंभीरता को देखते हुए डीजी जेल पीवी रामाशास्त्री ने इसे नियमों का उल्लंघन मानते हुए डीआईजी जेल कुंतल किशोर को जांच सौंपी। मंगलवार को डीआईजी ने मुरादाबाद जेल का दौरा कर मुलाकात से संबंधित सभी रिकॉर्ड और सीसीटीवी फुटेज कब्जे में लिए।

डीएम ने शासन को भेजी रिपोर्ट

मीडिया में मामला सुर्खियों में आने के बाद जिलाधिकारी ने इसका संज्ञान लिया और मंगलवार को पूरी रिपोर्ट शासन को भेज दी। इसके आधार पर जेलर और डिप्टी जेलर को निलंबित कर दिया गया।

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क्या हुआ जेल में?

जांच में यह पाया गया कि सोमवार को सपा नेताओं ने जेल में बंद आरोपियों से बिना पर्ची मुलाकात की। डीआईजी ने जेल में आने-जाने वालों का रिकॉर्ड, मुलाकात की पर्चियां, और सीसीटीवी फुटेज की गहन जांच कर सभी दस्तावेज अपने कब्जे में ले लिए हैं।

सरकार की सख्ती जारी

संभल हिंसा को लेकर सरकार ने सख्त रुख अपनाया है। प्रशासन ने बाहरी व्यक्तियों के प्रवेश पर रोक और संवेदनशील मामलों में नियमों के उल्लंघन पर कार्रवाई की चेतावनी दी है। इस घटनाक्रम ने जेल प्रबंधन की कार्यप्रणाली पर भी सवाल खड़े किए हैं।

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