बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती (Mayawati) ने गुरुवार को खेती और किसानों की अनदेखी पर चिंता जाहिर की है। बसपा सुप्रीमो मायावती ने कहा कि भारत के कृषि प्रधान होने के बावजूद खेती व किसान हित के प्रति सरकारों का काफी कम ध्यान देना हमेशा से ही बड़ी चिन्ता का कारण रहा है।
मायावती ने कहा कि अब तो उनकी उपज की वाजिब कीमत नहीं मिलना, गन्ना किसानों का भारी बकाया व पशुधन की हानि आदि ग्रामीण भारत को त्रस्त कर रहे हैं। सरकार इस पर तत्काल ध्यान दे। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश सरकार ने भी विधान सभा में स्वीकार किया है कि प्रदेश के गन्ना किसानों का भारी बकाया है। जिसके सम्बंध में सरकार को अपनी जिम्मेदारी को पूरी तरह से निभाते हुए इन बकायों की यथाशीघ्र पूर्ति सुनिश्चित कराने के लिए कड़ा कदम जरूर उठाना चाहिए।
2. साथ ही, गुजरात, राजस्थान, एमपी से लेकर यूपी तक में ’लम्पी’ बीमारी के कारण असंख्य घरेलू जानवरों की मौत ने गरीब ग्रामीण भारत को नए संकट में डाल रखा है। पशुधन आत्मनिर्भर ग्रामीण जीवन की रीढ़ है, इसलिए यूपी व अन्य राज्य सरकारें प्रभावित लोगों की समुचित आर्थिक मदद जरूर करें।
— Mayawati (@Mayawati) September 22, 2022
बसपा चीफ ने कहा कि इसके साथ साथ ही साथ गुजरात, राजस्थान, एमपी से लेकर उत्तर प्रदेश में लम्पी वायरस की चपेट में असंख्य घरेलू जानवरों की मौत ने गरीब ग्रामीण भारत को नए संकट में डाल रखा है। पशुधन आत्मनिर्भर ग्रामीण जीवन की रीढ़ है। इसी कारण उत्तर प्रदेश के साथ अन्य राज्य की सरकारें प्रभावित लोगों की समुचित आर्थिक मदद जरूर करें।
3. उत्तर प्रदेश सरकार ने भी विधान सभा में स्वीकार किया है कि प्रदेश के गन्ना किसानों का भारी बकाया है, जिसके सम्बंध में सरकार को अपनी जिम्मेदारी को पूरी तरह से निभाते हुए इन बकायों की यथाशीघ्र पूर्ति सुनिश्चित कराने के लिए कड़ा कदम जरूर उठाना चाहिए।
— Mayawati (@Mayawati) September 22, 2022
बता दें कि इससे पहले मायावती ने यूपी में प्रमुख विपक्षी दल समाजवादी पार्टी पर भी निशाना साधा था। उन्होंने कहा था कि भाजपा की घोर जातिवादी, साम्प्रदायिक व जनहित-विरोधी नीतियों आदि के विरुद्ध उत्तर प्रदेश की सेक्युलर शक्तियों ने समाजवादी पार्टी को वोट देकर यहां प्रमुख विपक्षी पार्टी तो बना दिया, किन्तु यह पार्टी भाजपा को कड़ी टक्कर देने में विफल साबित होती हुई साफ दिख रही है। ऐसा क्यों है, इस बारे में समाजवादी पार्टी विचार जरूर करे।
बसपा सुप्रीमो ने कहा था कि समाजवादी पार्टी के कमजोर पड़ने के कारण है कि भाजपा सरकार को यूपी की करोड़ों जनता के हित व कल्याण के विरुद्ध पूरी तरह से निरंकुश व जनविरोधी सोच व कार्यशैली के साथ काम करने की छूट मिली हुई है। यह बड़ी चिंता का विषय है कि विधान सभा में भी भारी संख्या बल होने के बावजूद योगी आदित्यनाथ सरकार के विरुद्ध समाजवादी पार्टी काफी लाचार व कमजोर दिखती है।
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