कांग्रेस (Congress) के वरिष्ठ नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने एक बार फिर चुनाव आयोग (Election Comission) पर गंभीर सवाल उठाए हैं। उन्होंने कहा कि देश में फर्जी वोटिंग (Fake Voting) हो रही है और इसकी जड़ें मतदाता सूची में फैली गड़बड़ियों से जुड़ी हैं। राहुल ने एक प्रेजेंटेशन के जरिए महाराष्ट्र (Maharastra) और कर्नाटक की वोटर लिस्ट में कथित फर्जी वोटर्स का खुलासा किया और दावा किया कि महाराष्ट्र में 40 लाख वोटर ‘रहस्यमयी’ तरीके से जोड़े गए हैं। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि महाराष्ट्र का चुनाव चोरी कर लिया गया और इस तरह से कांग्रेस वहां चुनाव हार गई।
महादेवपुरा में एक लाख फर्जी वोट का दावा
राहुल गांधी ने बताया कि बेंगलुरु सेंट्रल लोकसभा क्षेत्र की महादेवपुरा विधानसभा सीट पर कांग्रेस की आंतरिक जांच में बड़ा खुलासा हुआ है। उन्होंने कहा कि 6.5 लाख वोटर्स में से एक लाख से अधिक वोट फर्जी पाए गए हैं। इनमें से हजारों ऐसे वोटर्स थे, जिनके पते गलत हैं या जिनके नाम एक से अधिक बार दर्ज हैं। उन्होंने बताया कि महादेवपुरा सीट पर कांग्रेस 32,707 वोटों से हारी थी, जबकि बीजेपी को यहां एक लाख से ज्यादा का मार्जिन मिला। इस वजह से उन्हें शक हुआ कि वोटर लिस्ट में गड़बड़ी है।
वोटर लिस्ट में तकनीकी खामियां और फर्जीवाड़े के आरोप
राहुल गांधी ने कहा कि कांग्रेस की जांच में वोटर लिस्ट में कई अनियमितताएं मिलीं। उदाहरण के लिए, कई मतदाताओं के पिता के नाम गलत या अधूरे थे, 40 हजार मकानों के पते ‘शून्य’ पाए गए, और कई घरों में असामान्य संख्या में वोटर्स रजिस्टर्ड थे। उन्होंने आरोप लगाया कि एक कमरे के मकान में 80 वोटर्स पाए गए, और एक पते पर 46 लोग रजिस्टर्ड थे। राहुल गांधी ने इसे चुनाव आयोग और बीजेपी की मिलीभगत बताया।
चुनाव आयोग से पारदर्शिता की मांग
कांग्रेस नेता ने चुनाव आयोग से बार-बार इलेक्ट्रॉनिक डेटा की मांग की, लेकिन उन्हें कोई जानकारी नहीं दी गई। उन्होंने कहा कि आयोग ने न केवल डेटा देने से इनकार किया बल्कि उनके सवालों का जवाब भी नहीं दिया। राहुल गांधी ने पूछा कि क्या चुनाव आयोग यह सुनिश्चित कर सकता है कि वोटर लिस्ट सही है? उन्होंने कहा कि चुनाव आयोग की निष्पक्षता पर गंभीर संदेह खड़े हो रहे हैं।
राहुल गांधी का दावा
वोट चोरी के 5 तरीके: राहुल गांधी ने वोटर लिस्ट में हेरफेर के पांच प्रमुख तरीकों की जानकारी दी:
- डुप्लीकेट वोटर्स – 11,965 ऐसे नाम जो एक से अधिक बार दर्ज हैं।
- फर्जी और इनवैलिड पते – 40,009 वोटर्स के पते गलत पाए गए।
- एक ही पते पर दर्ज सैकड़ों वोटर्स – 10,452 मामले ऐसे मिले।
- इनवैलिड फोटो – 4,132 वोटर्स के फोटो अमान्य हैं।
- फॉर्म-6 का दुरुपयोग – 30,000 मामलों में इस फॉर्म का गलत इस्तेमाल हुआ।
उन्होंने कहा कि ये सब मिलाकर वोटिंग प्रक्रिया को कमजोर बना रहे हैं और लोकतंत्र के लिए खतरा हैं।