Chandra Grahan: जानें कब है चंद्र ग्रहण, सूतक काल के समय गलती से भी न करें ये काम

 

वैसे तो कार्तिक पूर्णिमा इस साल 8 नवंबर की थी, लेकिन उस दिन पड़ रहे चंद्रग्रहण की वजह से ये 7 नवंबर को ही मनाई जाएगी. 8 तारीख को पड़ने वाला चंद्रग्रहण साल का आखिरी चंद्रग्रहण होगा. पंचांग के मुताबिक यह चंद्र ग्रहण भारत में दिखाई देगा. इसलिए इस ग्रहण का सूतक मान्य होगा. धार्मिक ग्रंथों के अनुसार, सूतक काल में शुभ और मांगलिक कार्यों की मनाही होती है तथा चंद्र ग्रहण का नकारात्‍मक प्रभाव जीवन पर बुरा असर डालता हैं. आइए आपको बताते हैं चंद्रग्रहण का सूतक कब से लगेगा और इस दौरान क्या नहीं करना चाहिए.

जानें कबसे लग रहा सूतक

जानकारी के मुताबिक, भरणी नक्षत्र होने की शुभता के बावजूद इस दिन खग्रास चंद्र ग्रहण है. यह ग्रहण मेष राशि तथा इसी भरणी नक्षत्र में है. ग्रहण का स्पर्श 14.40 पर, मध्यकाल 19.29 पर तथा मोक्ष 18.19 पर होगा. ग्रहण का कुल समय 3 घंटे 39 मिनट है. इसका सूतक सोमवार 7 नवम्बर की मध्यरात्रि के बाद 29.40 से प्रारंभ हो जाएगा. यह ग्रहण भारत सहित ऑस्ट्रेलिया, एशिया, अमेरिका तथा पेसिफिक महासागर के भूभागों में दिखाई देगा. इस विशेष पूर्णिमा के दिन गंगा स्नान के बाद दीपदान आदि का फल दस यज्ञों के बराबर होना माना गया है. ब्रह्मा, विष्णु, शिव, अंगिरा, आदित्य ने इसे पुनीत पर्व होना कहा है.

चंद्र ग्रहण के दौरान न करें ये काम

ज्योषित के अनुसार चंद्र ग्रहण के दौरान पूजा न करें.

ग्रहण के समय मंदिर के कपाट को बंद रखें.

घर में रखे हुए खाने-पीने की चीजों में तुलसी के पत्ते या कुश डाल दें.

खाने-पीने की चीजों में तुलसी के पत्ते डाल देने से भोजन पर ग्रहण का प्रभाव नहीं पड़ता है.

ग्रहण के समय भोजन न करें. (बच्चे, बीमार, बुजुर्गों के लिए लागू नहीं)

गर्भवती महिलाएं ग्रहण के दौरान बाहर न निकलें.

ग्रहण के सोने से परहेज करें.

भगावान का नाम जपें.

ग्रहण समाप्ति के बाद पानी में गंगा जल मिलाकर स्नान करें

पूरे घर में गंगा जल का छिड़कें.

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