यूपी सरकार की ओर से लगातार प्रदेश में कानून व्यवस्था की स्थिति को बेहतर बनाने के लिए तबादले हो रहे हैं. नवंबर माह में भी यूपी में कई पुलिस अधिकारियों के तबादले किए गए थे. इसके अब साल के अंत में भी कानून व्यवस्था को लेकर योगी सरकार की ओर से लगातार कार्रवाई की जा रही है. इसी क्रम में शासन ने सात वरिष्ठ आईपीएस अधिकारियों के तबादले मंगलवार देर रात कर दिए. इस लिस्ट में आईपीएस आलोक सिंह का नाम भी शामिल है. योगी सरकार ने एक बार फिर से आईपीएस आलोक सिंह पर भरोसा दिलाया है. आईपीएस आलोक सिंह को कानपुर जिले का एडीजी बनाया गया है.
जानकारी के मुताबिक, आईपीएस आलोक सिंह पहले भी कानपुर SSP और IG रह चुके हैं. उनका कानपुर से पुराना नाता है. उनके पुराने अनुभव को देखते हुए उन्हें यह तैनाती दी गई है. एक महीने पहले उन्हें नोएडा पुलिस कमिश्नर के पद से हटाया गया था. कानपुर एडीजी जोन के दायरे में कानपुर देहात, औरैया, इटावा, कन्नौज, फतेहगढ़, झांसी, जालौन और ललितपुर जिला आते हैं. कानपुर कमिश्नरेट बनने के बाद जोन से अलग हो गया था. एडीजी जोन का कानपुर कमिश्नरेट में किसी तरह का कोई दखल नहीं रहेगा। बाकी जोन के दायरे में आने वाले जिलों के कप्तानों के काम की समीक्षा और निगरानी करेंगे। इन जिलों में लॉ एंड ऑर्डर बनाए रखना बड़ी चुनौती है। इसके चलते एडीजी भानु भास्कर के बाद अब आलोक सिंह को यह जिम्मेदारी सौंपी गई है।
IPS भानु भास्कर पर फिर जताया भरोसा
कानपुर के एडीजी भानु भास्कर पर एक बार फिर DGP और सरकार ने भरोसा जताया है। इसके चलते उन्हें कानपुर एडीजी के बाद प्रयागराज जोन का एडीजी बनाया गया है। IPS भानु भास्कर के समय में कानपुर जोन का लॉ एंड ऑर्डर बनाए रखने में अपनी अहम भूमिका निभाई। कानपुर में उनकी शानदार पारी रही। उनकी छवि एक शानदार IPS अफसरों में है।
यूपी सरकार की ओर से लगातार प्रदेश में कानून व्यवस्था की स्थिति को बेहतर बनाने के लिए तबादले हो रहे हैं. नवंबर माह में भी यूपी में कई पुलिस अधिकारियों के तबादले किए गए थे. इसके अब साल के अंत में भी कानून व्यवस्था को लेकर योगी सरकार की ओर से लगातार कार्रवाई की जा रही है. इसी क्रम में शासन ने सात वरिष्ठ आईपीएस अधिकारियों के तबादले मंगलवार देर रात कर दिए. इस लिस्ट में आईपीएस आलोक सिंह का नाम भी शामिल है. योगी सरकार ने एक बार फिर से आईपीएस आलोक सिंह पर भरोसा दिलाया है. आईपीएस आलोक सिंह को कानपुर जिले का एडीजी बनाया गया है.
कानपुर से है आईपीएस आलोक का पुराना नाता
जानकारी के मुताबिक, आईपीएस आलोक सिंह पहले भी कानपुर SSP और IG रह चुके हैं. उनका कानपुर से पुराना नाता है. उनके पुराने अनुभव को देखते हुए उन्हें यह तैनाती दी गई है. एक महीने पहले उन्हें नोएडा पुलिस कमिश्नर के पद से हटाया गया था.
कानपुर एडीजी जोन के दायरे में कानपुर देहात, औरैया, इटावा, कन्नौज, फतेहगढ़, झांसी, जालौन और ललितपुर जिला आते हैं. कानपुर कमिश्नरेट बनने के बाद जोन से अलग हो गया था.
बाकी कप्तानों पर भी करेंगे निगरानी
एडीजी जोन का कानपुर कमिश्नरेट में किसी तरह का कोई दखल नहीं रहेगा. बाकी जोन के दायरे में आने वाले जिलों के कप्तानों के काम की समीक्षा और निगरानी करेंगे. इन जिलों में लॉ एंड ऑर्डर बनाए रखना बड़ी चुनौती है. इसके चलते एडीजी भानु भास्कर के बाद अब आलोक सिंह को यह जिम्मेदारी सौंपी गई है.
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