उत्तर प्रदेश के फर्रुखाबाद (Farrukhabad) जिले से बड़ी खबर सामने आयी है. जहां एक वारंटी को पकड़ने पहुंचे दारोगा (Sub Inspector) एवं सिपाही (Constable) पर ग्रामीणों ने हमला कर दिया. जिससे वो दोनों बुरी तरह से घायल हो गए. ग्रामीणों ने दारोगा और सिपाही को लाठी-डंडो से दौड़ा-दौड़कर पीटा. दोनों ने किसिस तरह वहां से भागकर अपनी जान बचाई. मौका पाकर वारंटी के परिजन आरोपी को पुलिस से छुड़ा ले जाने में कामयाब हो गए.
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दरअसल, फर्रुखाबाद जिले के गांव दनियापुर हीरामन में अवैध शस्त्र के मुकदमे में वारंटी को पकड़ने गए दारोगा और सिपाही पर परिजनों व खेत में धान काट रहे ग्रामीणों ने हमला कर दिया. दरांती से हमले में दारोगा घायल हो गए और सिपाही भी जख्मी हो गया. दोनों का मेडिकल कराया गया. दारोगा की तहरीर पर 9 नामजद और 3 अज्ञात महिलाओं पर जानलेवा हमले समेत कई धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया.
बता दें नवाबगंज थाने की बबना चौकी के प्रभारी इंचार्ज दारोगा राजेश कुमार सोमवार रात सिपाही बंटू कुमार के साथ आईजी जोन के अभियान के तहत अवैध शस्त्र के मुकदमे में वारंटी अजय पाल निवासी गांव दनियापुर हीरामन की तलाश में गांव पहुंचे. अजय के घर जाने पर पता चला कि वह खेत में अपने पुत्रों के साथ धान काट रहा है. इस पर दोनों खेत पहुंचे और धान की कटाई कर रहे अजय पाल को पकड़कर ले जाने लगे. खेत के दूसरे छोर पर काम करे रहे उसके पुत्रों नरसिंह, गौरव, हरिओम, आशुतोष एवं घर की महिलाओं को इसकी जानकारी हुई. यह लोग भाग कर मौके पर पहुंचे और अजय को पकड़े जाने पर विरोध जताने लगे.
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इस पर दारोगा राजेश कुमार ने उसे छोड़ने से मना कर दिया. इस पर इन लोगों एवं खेत पर काम कर रहे अन्य लोगों ने पुलिस पर हमला कर दिया. दारोगा और सिपाही बचने को भागे तो उन्हें दौड़ा-दौड़ा कर पीटा. महिलाओं ने दारोगा एवं सिपाही पर दरांती से हमला कर दिया. दरांती दारोगा राजेश के हाथ में लगी, इससे वह लहूलुहान हो गए. इस दौरान वारंटी अजय पाल को परिजनों ने छुड़वा लिया. दारोगा एवं सिपाही ने भागकर अपनी जान बचाई.
इस घटना की जानकारी पर थाने से फोर्स भी पहुंचा. तब तक हमलावर वहां से फरार हो चुके थे. दारोगा राजेश कुमार और सिपाही बंटू कुमार का मेडिकल कराया गया. दारोगा ने वारंटी अजय पाल, उसके पुत्रों नरसिंह, गौरव, हरिओम, आशुतोष समेत ग्रामीण रामपाल, हरिपाल, रामराज, देव सिंह, सोनू तथा 3 अज्ञात महिलाओं के खिलाफ गालीगलौज मारपीट, जान से मारने की नीयत से दरांती से हमला व सरकारी कार्य में बाधा डालकर आरोपी को पुलिस अभिरक्षा से छुड़वा लेने की धाराओं में मुकदमा दर्ज कराया है.
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एएसपी त्रिभुवन सिंह को दारोगा एवं सिपाही पर हुए हमले के बारे में जानकारी तक नहीं दी गई. एएसपी ने बताया कि ‘एसओ वेद प्रकाश पांडेय ने उनको इस बारे में कुछ भी नहीं बताया. इस लापरवाही पर जांच कर कार्रवाई जाएगी’.
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