उत्तर प्रदेश की योगी सरकार (Yogi Government) अब सरकारी अस्पतालों में दवाओं की किल्लत (Shortage of Medicines) नहीं होने देगी। इसके लिए सभी जिलो में ड्रग वेयर हाउस (Drug Ware Houses) बनाए जाएंगे। अभी जिलों में किराए के भवनों में दवाओं का भंडारण किया जा रहा है। किराए के भवनों में चल रहे ड्रग वेयर हाउस में अधिक मात्रा में दवा का भंडारण नहीं हो पाता। ऐसे में अब राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, उत्तर प्रदेश की मदद से अत्याधुनिक सुविधाओं से लैसे बड़े ड्रग हाउस बनाए जा रहे हैं।
दरअसल, सरकारी अस्पतालों में जरूरत के अनुसार दवाओं की आपूर्ति यूपी मेडिकल सप्लाइज कॉर्पोरेशन लिमिटेड द्वार किया जाता है। ड्रग एंड वैक्सीन डिस्ट्रीब्यूशन मैनेजमेंट सिस्टम की मदद से अस्पतालों की जरूरत के अनुसार ऑनलाइन उनका ऑर्डर लेकर दवाएं भेजी जाती है।
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किराए के भवन में कम क्षमता के कारण कभी-कभी जरूरत के अनुसार भंडारण नहीं हो पाता। फिलहाल 2 साल के अंदर यूपी के आठ जिलों में 25 ड्रग वेयर हाउस तैयार किए जाएंगे। इसके बाद चरणबद्ध तरीके से सभी जिलों में ड्रग वेयर हाउस का निर्माण होगा।
बता दें कि पहले विकेन्द्रीयकृत व्यवस्था के तहत सभी जिलो में मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) द्वारा दवाओं की खरीद की जाती थी। इसमें गड़बड़ियों की शिकायत पर करीब पांच साल पहले केंद्रीयकृत व्यवस्था के तहत उत्तर प्रदेश मेडिकल सप्लाइज कॉर्पोरेशन लिमिटेड के माध्यम से दवाएं खरीदकर अस्पतालों में भेजी जा रही हैं।
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