UP में CAA विरोध की आड़ में दंगा फैलाने वालों पर कार्रवाई पकड़ेगी रफ्तार, ADG ने दिए आदेश

बीते 2019 में CAA NRC के नाम पर कई जगह काफी उपद्रव मचाया गया था. जिसके अंतर्गत यूपी के कई जिलों में भी दंगे भड़काए गए थे, चौकियां फूंकी गयीं थी. इतना ही नहीं, कई जगह सार्वजनिक सम्पत्तियों का नुकसान भी किया गया था. जिसके बाद सीएम योगी आदित्यनाथ ने उपद्रवियों पर कार्रवाई के सख्त आदेश दिए थे. अब इस मामले में कार्रवाई तेज होने वाली है. दरअसल, एडीजी लॉ एंड आर्डर ने बताया कि ऐसे बहुत लोग हैं जिनकी अभी तक गिरफ्तारी नहीं हुई. न उनके खिलाफ चार्जशीट बनी है. ऐसे लोगों पर इस साल तेजी से कार्रवाई होगी।


एडीजी ने बताया ये

जानकारी के मुताबिक,, उत्तर प्रदेश में नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) के खिलाफ हिंसक प्रदर्शन में कई लोगों के मारे जाने के बाद सभी जिलों ने उस दौरान सरकारी संपत्तियों को नुकसान पहुंचाने के लिए नोटिस भेजने की प्रक्रिया शुरू कर दी थी. जिसके बीच कोरोना वायरस के आने की वजह से इस कार्रवाई में थोड़ा ढील दे दी गयी. अब नए साल की शुरुआत के साथ ही वापस से उन सभी पर कार्रवाई की शुरुआत होने वाली है, जो इन दंगों में शामिल थे और अभी तक फरार हैं.


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यूपी के एडीजी लॉ एंड ऑर्डर प्रशांत कुमार का कहना है कि इस साल भी उन मामलों में फरार आरोपियों की गिरफ्तारी, मुकदमों में चार्जशीट और तोड़फोड़ की रिकवरी की प्रक्रिया जारी रहेगी.ऐसे लोगों पर कार्रवाई में अब तेजी लाई जाएगी. एडीजी एलओ ने कहा कि सभी मामलों की विवेचना गुण दोष के आधार पर की जा रही है और जिनकी भूमिका नहीं मिली है. उनके नाम मुकदमों से हटाए भी गए हैं. डीजीपी मुख्यालय से जारी आंकड़ों के मुताबिक साल 2021 में 2500 से अधिक आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल करने की तैयारी में है. बताया जा रहा है कि सरकार उपद्रवियों से तोड़फोड़ में हुए नुकसान की वसूली भी जारी करेगी।


1800 लोगों पर कार्रवाई की तैयारी में पुलिस

गौरतलब है कि, बीते नवंबर- दिसंबर 2019 में सीएए विरोध की हिंसा में सूबे के 21 जिले सुलग उठे थे. इन जिलों में दंगाइयों द्वारा बहुत ज्यादा तोड़फोड़, आगजनी में सरकारी, निजी संपत्तियों का भी भारी मात्रा में नुकसान किया गया था. प्रदर्शन खत्म होने के बाद सरकार ने प्रदेश भर में 510 मुकदमे दर्ज करते हुए कार्रवाई की शुरुआत की.


वहीँ ये भी बता दें कि हिंसक प्रदर्शन में सूबे में 1.2 करोड़ रुपए की संपत्तियों का नुकसान हुआ था. अबतक पुलिस प्रशासन ने अब तक 26.30 लाख की वसूली की है. 19-20 दिसंबर 2019 को लखनऊ, कानपुर समेत 21 जिलों में हिंसक प्रदर्शन हुए थे. जिनमें 896 आरोपियों को रिकवरी नोटिस जारी हुई है. इसके अलावा 2514 आरोपियों को भेजा जा चुका है. 586 आरोपियों ने कोर्ट में सरेंडर किया. करीब 1800 आरोपियों पर शिकंजा कसने की तैयारी में पुलिस प्रशासन जुटा है.


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