राम मंदिर: मुगलों के वंशज ने ‘पूर्वजों के पाप’ पर मांगी माफी, सिर पर चरण पादुका रख किया प्रायश्चित

खुद को बहादुर शाह जफर के छठवें वंशज बताने वाले हैदराबाद के प्रिंस याकूब हबीबुद्दीन तुसी ने बीते दिनों कहा कि राम मंदिर के निर्माण में सबसे पहले सोने की ईंट लगाएंगे। उनके इस बयान के बाद मुस्लिम समुदाय के कई लोगों ने आपत्ति भी जताई। लेकिन रविवार को हिंदू महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी चक्रपाणि के साथ अयोध्या पहुंचे राजकुमार याकूब हबीबु्द्दीन तुसी अपने पूर्वजों के पाप का प्रायश्चित कर लिया है।

 

मुगलों के पाप पर वंशज ने मांगी माफी

मिली जानकारी के मुताबिक, रविवार (15 अक्टूबर) को हैदराबाद के राजकुमार याकूब हबीबुद्दीन तुसी हिंदू महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी चक्रपाणि के साथ अयोध्या पहुंचे। इस दौरान राजकुमार याकूब ने अयोध्या में पूर्वजों के पाप (मंदिर ध्वंस) पर माफी मांगी और सिर पर चरण पादुका रखकर और प्रतीकात्मक रूप से पूर्वजों के पाप का प्रायश्चित भी किया।

 

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इसके बाद राजुकमार याकूब जानकीगाट बड़ा स्थान पर आयोजित बैठक में भी शामिल हुए। सूत्रों के मुताबिक, राम जन्मभूमि मंदिर निर्माण न्यास के अध्यक्ष और रसिक पीठाधीश्वर महंत जन्मेजयशरण ने इस बैठक का आयोजन कराया था। अयोध्या पहुंचे राजकुमार याकूब ने म मंदिर के लिए शिला पूजन में भी हिस्सा लिया।

 

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उन्होंने बताया कि राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद का विवाद टाइटल सूट का है। एक पक्ष के तौर पर यह जमीन बाबर की है। मगर उनके वंशज के रूप में मैं इसे मंदिर (राम लला के) के लिए राष्ट्रपति को भेंट कर दूंगा। उन्होंने राम मंदिर निर्माण का कार्य जल्द शुरू होने की कामना भी की है।

 

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2019 से पहले नहीं शुरू हुआ मंदिर निर्माण कार्य तो छिड़ेगी जंग

बता दें कि अयोध्या पहुंचे हैदराबाद के राजकुमार याकूब हबीबुद्दीन तुसी राम लला के दर्शन भी किए। वहीं, हिंदू महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी चक्रपाणि ने राम मंदिर के निर्माण कार्य में लगातार हो रही देरी पर ऐतराज जताया। स्वामी चक्रपाणि ने धमकी भरे लहजे में कहा कि अगर साल 2019 से पहले भगवान श्रीराम मंदिर निर्माण का कार्य शूरू नहीं हुआ तो आमने-सामने की जंग छिड़ जाएगी।

 

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