Delhi Election Result 2025: दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 के नतीजे सत्ता परिवर्तन की ओर इशारा करते हुए दिखाई दे रहे हैं। चुनावी जंग में इस बार आम आदमी पार्टी (AAP) और भारतीय जनता पार्टी (BJP) के बीच कांटे की टक्कर देखने को मिल रही है। अब तक के रुझानों से यह साफ हो रहा है कि दिल्ली में 27 वर्षों के बाद बीजेपी का शासन फिर से लौट सकता है।
अरविंद केजरीवाल की हार से दिल्ली में हलचल
दिल्ली के मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी (AAP) के प्रमुख अरविंद केजरीवाल को नई दिल्ली सीट से हार का सामना करना पड़ा है। यह सीट दिल्ली की सबसे प्रमुख सीटों में से एक मानी जाती है, और उनकी हार ने एक बड़ा झटका दिया है। केजरीवाल के खिलाफ भाजपा के उम्मीदवार ने बंपर जीत दर्ज की, जो बीजेपी की बढ़ती ताकत को स्पष्ट रूप से दर्शाता है। केजरीवाल की हार ने दिल्ली के चुनावी मैदान में सत्ता परिवर्तन की संभावना को और मजबूत कर दिया है।
AAP को दूसरा बड़ा झटका
दिल्ली के उपमुख्यमंत्री और शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया भी अपनी पारंपरिक जंगपुरा सीट पर हार गए हैं। सिसोदिया का चुनावी पराभव आम आदमी पार्टी के लिए एक और बड़ा धक्का है, जो उन्हें दिल्ली की सत्ता में वापसी के लिए किए गए संघर्ष में भारी नुकसान दे सकता है।
बीजेपी की वापसी
चुनावी रुझानों के अनुसार, बीजेपी ने दिल्ली में एक मजबूत वापसी की है और अब वह सत्ता की ओर बढ़ रही है। पिछले 5 वर्षों में आम आदमी पार्टी की बढ़ती लोकप्रियता के बावजूद, बीजेपी ने चुनावी रणनीतियों और प्रचार के जरिए अपनी स्थिति मजबूत की है। माना जा रहा है कि इस बार भा.ज.पा. 27 साल बाद दिल्ली की सत्ता पर काबिज हो सकती है, जो दिल्ली की राजनीति में एक बड़ा बदलाव साबित हो सकता है।
आम आदमी पार्टी के लिए मुश्किलें बढ़ी
AAP की चुनावी वापसी के बाद से यह पार्टी दिल्ली में फिर से सत्ता में आने का दावा कर रही थी। लेकिन पार्टी के प्रमुख चेहरों की हार और बीजेपी की बढ़ती ताकत ने उनकी उम्मीदों पर पानी फेर दिया है। केजरीवाल और सिसोदिया की हार ने यह साबित कर दिया है कि दिल्ली में सत्ता बदलने की संभावना वास्तविक होती जा रही है।
बीजेपी की रणनीति और भविष्य
बीजेपी ने चुनाव प्रचार में एकजुट होकर अपनी ताकत को दिखाया है। पार्टी ने दिल्ली में अपने कार्यकर्ताओं को मजबूत किया और बीजेपी की चुनावी नीतियों का प्रचार करके लोगों में विश्वास बढ़ाया। रुझानों के आधार पर, पार्टी को अब दिल्ली में फिर से सत्ता संभालने का पूरा मौका मिल सकता है।