पाकिस्तान ने हिंदू धार्मिक स्थल पंज तीर्थ को दिया राष्ट्रीय विरासत का दर्जा, क्षतिग्रस्त किया तो होगी 5 साल की जेल

हिंदू प्राचीन मंदिरों में एक पाकिस्तान के पेशावर स्थित प्राचीन हिंदू धार्मिक स्थल पंज तीर्थ को खैबर पख्तूनख्वा प्रांत की सरकार ने राष्ट्रीय विरासत घोषित किया है. इस मंदिर की खासियत यह की ये पांच सरोवरों में स्थित है इसलिए इसका नाम नाम पंज तीरथ पड़ा. इसके अलावा यहां मंदिर और खजूर के पेड़ों वाला उद्यान है ब विरासत स्थल के पांचों सरोवर चाचा युनूस पार्क और खैबर पख्तूनख्वा चैंबर ऑफ कामर्स एंड इंडस्ट्री के दायरे में आते हैं.

 

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इस मंदिर के बारे में कहा जाता है कि, इस मंदिर का संबंध महाभारतकालीन राजा पांडू से है. जो इस क्षेत्र से ताल्लुक रखते थे. लेकिन बाद में 1747 में अफगान दुर्रानी राजवंश के शासनकाल के दौरान यह स्थल क्षतिग्रस्त हो गया, जिसके बाद 1834 में सिख शासन के दौरान स्थानीय हिंदुओं ने इसका फिर से निर्माण किया. हिंदू समुदाय के लोग इन सरोवरों में स्नान करने के लिए कार्तिक के महीने में आते थे और पेड़ों के नीचे दो दिनों तक पूजा करते थे.

 

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क्षतिग्रस्त किया तो होगी 5 साल की जेल

 

खैबर पख्तूनख्वा पुरातत्व एवं संग्रहालय निदेशालय ने अधिसूचना जारी करके केपी ऐंटिक्वीटीज एक्ट 2016 के तहत पंज तीरथ पार्क की भूमि को विरासत स्थल घोषित किया है. सरकार ने बड़ी सख्ती से यह फरमान सुनाया है की इस ऐतिहासिक स्थल को क्षतिग्रस्त करने का दोषी पाये जाने वाले व्यक्ति को 20 लाख रुपये का जुर्माना और पांच साल तक की सजा होगी.

 

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