गोरखपुर में 20-22 मार्च तक धर्म और अध्यात्म पर अंतरराष्ट्रीय फिल्मोत्सव का आयोजन

उत्तर प्रदेश के गोरखपुर में धर्म और अध्यात्म पर केंद्रित अंतरराष्ट्रीय फिल्मोत्सव (IFFRS 2025) का भव्य आयोजन होने जा रहा है। 20 से 22 मार्च तक योगीराज बाबा गंभीरनाथ प्रेक्षागृह में आयोजित इस महोत्सव में मानवता और दिव्यता से जुड़ी फिल्मों का प्रदर्शन किया जाएगा। उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग के सहयोग से इंडियन इंफोटेनमेंट मीडिया कॉर्पोरेशन (IIMC) द्वारा आयोजित इस फिल्मोत्सव में प्रख्यात फिल्म निर्माता-निर्देशक, विद्वान, कलाकार और सिनेमा प्रेमी शामिल होंगे।

फिल्मोत्सव के उद्घाटन सत्र में मुख्य अतिथि के रूप में सुप्रसिद्ध फिल्म निर्माता-निर्देशक विवेक रंजन अग्निहोत्री उपस्थित रहेंगे। उनके साथ फिल्मोत्सव की जूरी के सदस्य भी मौजूद रहेंगे। वहीं, गोरखपुर के सांसद और अभिनेता रवि किशन तथा राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता फिल्म निर्देशक मधुर भंडारकर भी विशेष प्रस्तुतियों में भाग लेंगे।

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फिल्मोत्सव का शुभारंभ “शेड्स ऑफ उत्तर प्रदेश” फिल्म की स्क्रीनिंग से होगा, जिसके बाद “वाराणसी: द सिटी ऑफ निर्वाण” का प्रदर्शन किया जाएगा। तीन दिवसीय यह फिल्म समारोह सिने प्रेमियों को धर्म और आध्यात्मिकता पर केंद्रित प्रतिष्ठित फिल्मों, डॉक्यूमेंट्री और शॉर्ट फिल्मों का अनूठा अनुभव प्रदान करेगा। आगंतुकों के लिए प्रवेश निःशुल्क रहेगा, ताकि अधिक से अधिक लोग इन विशिष्ट फिल्मों का आनंद उठा सकें।

पहला दिन: अघोरी, अमृत मंथन, दशावतार, बुद्ध सर्किट, अनटोल्ड हिस्ट्री – काल भैरव ,दूसरा दिन: नैमिष, महाकुंभ, इंडियाज ग्रैंड फेस्टिवल – दुर्गा पूजा ,तीसरा दिन: डिस्कवरी वाराणसी, मथुरा वृंदावन, ओवरऑल यूपी, यूपी – होम ऑफ द ताज

दूसरे दिन विवेक रंजन अग्निहोत्री फिल्म निर्माण पर मास्टर क्लास देंगे।अंतिम दिन प्रसिद्ध कास्टिंग डायरेक्टर और निर्माता पराग मेहता अभिनय कला पर मास्टर क्लास लेंगे।फिल्म महोत्सव के अंतिम दिन बेहतरीन फिल्मों को सम्मानित करने के लिए विशेष पुरस्कार समारोह आयोजित किया जाएगा।

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उत्तर प्रदेश के पर्यटन और संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह ने इस आयोजन पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा कि,
“फिल्मों से बेहतर कोई माध्यम नहीं जो धर्म, संस्कृति और आस्था की गहराइयों को दर्शकों तक पहुंचा सके। यह महोत्सव उत्तर प्रदेश की आध्यात्मिक विरासत को बढ़ावा देने में सहायक सिद्ध होगा। गोरखपुर, गुरु गोरखनाथ की कर्मभूमि, ऐसे आयोजनों के लिए सबसे उपयुक्त स्थान है।

IFFRS 2025 का उद्देश्य ऐसी कहानियों को मंच प्रदान करना है जो संस्कृति और आस्था की सीमाओं से परे जाकर सिनेमा को आध्यात्मिकता और कला के बीच एक सेतु के रूप में प्रस्तुत करें। यह आयोजन धर्म, अध्यात्म और सिनेमा प्रेमियों के लिए एक यादगार अनुभव बनने जा रहा है।