प्रयागराज (Prayagraj) जनपद में बसपा के पूर्व विधायक राजू पाल की हत्या के मुख्य गवाह उमेशपाल की दिन दहाड़े हत्या (Umesh Pal Murder Case) के बाद माफिया अतीक अहमद गिरोह को ऐसा करना भारी पड़ गया है। पुलिस ने इस वारदात में शामिल दूसरे बदमाश उस्मान को मुठभेड़ में ढेर कर दिया है। वहीं, जेल में बंद माफिया अतीक अहमद (Mafia Atiq Ahmed) को अब अपनी इस गलती का एहसास हो रहा है।
अतीक अहमद बोला- टाइमिंग गलत हो गई
पुलिस को पुख्ता जानकारी मिली है कि वारदात के बाद अतीक ने जेल में अपने करीबियों से कहा कि मैं कई बार सांसद और विधायक रह चुका हूं। इस बार मुझसे बड़ी गलती हो गई। विधानसभा का सत्र चलने के दौरान ये घटना नहीं करानी चाहिए थी। इसकी टाइमिंग गलत हो गई।
अतीक को गुजरात से यूपी लाएगी पुलिस
वहीं, अब अतीक अहमद को गुजरात से लाने की कवायद भी तेज हो गई है। वरिष्ठ अधिकारियों के निर्देश पर विवेचक लगातार अतीक और उसके भाई को पुलिस कस्टडी रिमांड पर लेने के लिए पर्चे काट रहा है। जल्द ही सारी औपचारिकताएं पूरी होने के बाद पुलिस अदालत से दोनों को पुलिस कस्टडी रिमांड पर देने का अनुरोध करेगी।
शूटरों के कोलकाता में छिपने की आशंका
उधर, अतीक के रिश्ते कोलकाता के बंदरगाह इलाके में तमाम मुस्लिम गद्दी मालिकों से हैं। अतीक ने गद्दी मालिकों के लिए कोलकाता में अपने गुर्गों के जरिए कई वारदातों को भी अंजाम दिया है। पुलिस को संदेह है कि उमेश पाल की हत्या करने के बाद सारे शूटर प्रयागराज के सैदाबाद में रुके थे। अगले दिन सुबह अलग-अलग जगहों की ओर भाग निकले। इनमें से कुछ शूटरों ने कोलकाता में गद्दी मालिकाें के पास शरण ली है। फिलहाल किसी शूटर के विदेश भागने का कोई प्रमाण नहीं मिला है।
प्रयागराज पुलिस और एसटीएफ शूटरों को पनाह देने वाले बिहार और गोरखपुर के कुछ माफिया पर पैनी नजर बनाए है। पुलिस को पुख्ता जानकारी मिली है कि शूटरों को छिपने और आगे भागने में बिहार और गोरखपुर के कुछ माफिया ने मदद की है। इनके रिश्ते अतीक और गुड्डू मुस्लिम से बताए जा रहे हैं। एडीजी कानून-व्यवस्था प्रशांत कुमार ने बताया कि शूटरों की तलाश में 15 से ज्यादा टीमें लगी हैं।
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