मुजफ्फरनगर: यूपी के के मुजफ्फरनगर रेलवे स्टेशन के एक कुली को राष्ट्रीय ध्वज के अपमान के आरोप में गिरफ्तार किया गया है. बतौर आरोपी उसे यह बड़ा सा तिरंगा स्वतंत्रता दिवस समारोह के बाद कहीं पड़ा हुआ मिला था. जिसे वह घर ले आया और पर्दे के रूप में इस्तेमाल करने लगा. कुली की गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने राष्ट्रीय ध्वज को कब्जे में ले लिया है.
जानें पूरा मामला
रामपुर इलाके में रहने वाला मोहम्मद शाहरुख रेलवे स्टेशन पर एक कुली के रूप में काम करता है. शाहरुख़ ने बताया कि उसे यह बड़ा सा तिरंगा स्वतंत्रता दिवस समारोह के बाद कहीं पड़ा हुआ मिला था. जिसे वह घर ले आया और पर्दे के रूप में इस्तेमाल करने लगा. पर्दे की सूचना आस-पड़ोस के लोगों से होती हुई पुलिस तक पहुंची जिसके बाद पुलिस ने तिरंगा टांगने के 21 दिन बाद 5 सितंबर को शिवसेना के कार्यकर्ताओं के साथ पुलिस आई और उसे राष्ट्रीय गौरव अपमान निवारण अधिनियम, 1971 के तहत गिरफ्तार कर लिया.
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वहीं इस पूरे मामले पर शाहरुख के मां-बाप और पत्नी नगमा का कहना है कि उन्हें और शाहरुख़ को भी इस बात की जानकारी नहीं थी कि झंडे को पर्दा बनाना लगाना अपराध है. हम सभी अनपढ़ हैं. हमारे घर में कोई दरवाजा नहीं था इसीलिए हमने इसे पर्दे बनाकर टांग लिया.
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वहीं इस मामले पर शिवसेना के मुजफ्फरनगर इकाई के लोकेश सैनी ने परिवार के दावों को खारिज कर दिया. उन्होंने कहा, ‘हम इस बात को मानने के लिए तैयार नहीं है कि वह इतना अनपढ़ है कि हमारे राष्ट्रीय ध्वज को ना पहचान पाए. हमारे जवानों का शरीर, जो देश के सम्मान के लिए शहीद हो जाते हैं उन्हें तिरंगे में लपेटा जाता है. लेकिन शाहरुख के लिए यह केवल कपड़े का एक टुकड़ा था जिससे वह पर्दा बनाकर इस्तेमाल कर रहा था.
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शाहरुख की गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने राष्ट्रीय ध्वज को कब्जे में ले लिया है. कोर्ट में सुनवाई के दौरान राष्ट्रीय ध्वज को बतौर सबूत पेश किया जाएगा.
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